नई दिल्लीः India-Canada Row: कनाडा के खिलाफ भारत की सख्ती का अब असर दिखने लगा है। खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर हत्याकांड पर जस्टिन ट्रूडो सरकार बैकफुट पर आ गई है। जस्टिन ट्रूडो सरकार ने अब उन मीडिया रिपोर्ट्स को खारिज किया है, जिनमें कहा गया था कि प्रधानमंत्री मोदी को खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या की प्लानिंग की जानकारी थी। कनाडा सरकार ने माना है कि निज्जर हत्याकांड में PM मोदी, एस जयशंकर और अजित डोभाल का न तो कोई कनेक्शन है और न ही कोई सबूत है। इससे वहां के मीडिया रिपोर्ट्स में पीएम मोदी सहित कई लोगों के शामिल होने का दावा किया गया था।
India-Canada Row: ट्रूडो सरकार की तरफ से शुक्रवार को बयान जारी करके साफ किया गया कि इस बात का कोई सबूत नहीं है कि कनाडा में आपराधिक गतिविधियों से भारत के प्रधानमंत्री, विदेश मंत्री और NSA का लिंक है। कनाडा में प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो के इंटेलिजेंस एडवाइजर की तरफ से जारी बयान में कहा गया, ’14 अक्टूबर को नागरिकों की सुरक्षा को खतरे की वजह से अफसरों ने कनाडा में जारी आपराधिक गतिविधियों के पीछे भारत सरकार के एजेंटों का हाथ होने की बात कही थी।’
18 जून 2023 की शाम को सरे शहर के एक गुरुद्वारे से निकलते समय निज्जर की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। कनाडा के प्रधानमंत्री ट्रूडो ने भारत सरकार पर निज्जर की हत्या में शामिल होने का आरोप लगाया था, जिसे भारत ने खारिज कर दिया था। इसके बाद दोनों देशों के आपसी रिश्तों में काफी तल्खी आ गई थी। विदेश मंत्री जयशंकर ने आरोप लगाया था कि कनाडा उन लोगों को वीजा देता है, जो भारत में वांटेड हैं। उन्होंने कहा था, ‘पंजाब में संगठित अपराधों से जुड़े लोगों का कनाडा में स्वागत किया जाता है।’ वहीं, कनाडा की संसद ने खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के एक साल पूरे होने पर उसे श्रद्धांजलि दी थी। इसके लिए संसद में एक मिनट का मौन रखा गया था।