पेरिस, 24 अक्टूबर (एपी) फ्रांस ने बृहस्पतिवार को एक अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन में लेबनान की मदद के लिए 10 करोड़ यूरो (10.8 करोड़ डॉलर) का पैकेज देने का संकल्प व्यक्त किया।
फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रों ने कहा कि लेबनान के लोगों के लिए तत्काल व्यापक सहायता की जरूरत है जहां हिजबुल्ला के चरमपंथियों और इजराइल के बीच युद्ध से दस लाख से अधिक लोग विस्थापित हो गए, 2,500 लोगों की मौत हो चुकी है, वहीं आर्थिक संकट भी गहरा गया है।
संयुक्त राष्ट्र ने लेबनान के लिए 42.6 करोड़ डॉलर की तत्काल मानवीय सहायता की जरूरत बताई है। फ्रांसीसी आयोजकों ने उम्मीद जताई कि पेरिस में आयोजित यह सम्मेलन इस सहायता के लिए पर्याप्त धन जमा करने में कारगर साबित होगा। सम्मेलन में 70 से अधिक देशों और अंतरराष्ट्रीय संगठनों ने भाग लिया।
जर्मनी ने लेबनान और पड़ोसी सीरिया दोनों को मानवीय सहायता के रूप में कुल 9.6 करोड़ यूरो देने का वादा किया है। सीरिया भी पश्चिम एशिया में बढ़ती हिंसा से बुरी तरह प्रभावित है।
इटली ने इस सप्ताह लेबनान को एक करोड़ यूरो की अतिरिक्त सहायता देने की घोषणा की थी।
लेकिन विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि सहायता पहुंचाना चुनौतीपूर्ण हो सकता है, क्योंकि अनौपचारिक और नकदी अर्थव्यवस्था पर लेबनान की बढ़ती निर्भरता से पारदर्शिता की कमी और भ्रष्टाचार का खतरा बढ़ रहा है।
पेरिस में हुए सम्मेलन का उद्देश्य लेबनान के सशस्त्र बलों को मजबूती प्रदान करने के लिए अंतरराष्ट्रीय समर्थन के लिहाज से तालमेल करना भी है।
मैक्रों ने लेबनान में सैन्य अभियान जारी रखने के लिए इजराइल की निंदा की।
लेबनान की संप्रभुता को बहाल करने और इसकी संस्थाओं को मजबूत करने में भी फ्रांस मदद करना चाहता है।
पिछले कुछ सप्ताह में मैक्रों इजराइल के खिलाफ अपना रुख कड़ा करते हुए दिखाई दिए हैं। वह लेबनान और गाजा दोनों जगह संघर्ष विराम का आह्वान कर रहे हैं।
उन्होंने सोमवार को इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के साथ फोन पर हुई बातचीत में अपना रुख दोहराया।
मैक्रों ने दक्षिण लेबनान में संयुक्त राष्ट्र के शांति रक्षकों को भी जानबूझकर निशाना बनाए जाने के लिए इजराइल की कड़ी निंदा की है। हालांकि इजराइल ने इस बात का खंडन किया है।
एपी वैभव पवनेश
पवनेश
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