Reported By: Apurva Pathak
, Modified Date: November 18, 2024 / 11:20 AM IST, Published Date : November 18, 2024/11:18 am ISTअयोध्या। Ayodhya Tilkotsav: शादियों का सीजन शुरू हो गया है। ऐसे में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के बाद अब बारी है श्री राम और माता सीता के विवाह की। जनकपुर में 6 दिसंबर को होने वाले विवाह उत्सव के पहले 18 नवंबर को अयोध्या में भव्य तिलकोत्सव होगा। इसके लिए मधेश प्रदेश के मुख्यमंत्री और नेपाल के कैबिनेट मिनिस्टर , मेयर समेत 40 गणमान्य व्यक्तियों का डेलिगेशन 500 बारातियों के साथ इस तिलकोत्सव में भाग लेगा। श्री राम और माता-पिता के विवाह का यह उत्सव भारत और नेपाल के बीच रिश्तो में सेतु का काम करेगा।
500 तिलकहरू होंगे शामिल
योध्या में प्रतिवर्ष श्री राम विवाह का आयोजन धूमधाम से होता है, लेकिन यह पहली बार है कि प्रभु श्री राम के तिलकोत्सव का भी भव्य आयोजन किया जा रहा है। यह कार्यक्रम कितना खास है इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि नेपाल के चार कैबिनेट मिनिस्टर समेत अलग-अलग क्षेत्र के कई मेयर का 40 लोगों का डेलिगेशन भी तिलक लेकर आ रहे लगभग 500 लोगों का हिस्सा होगा। यह अपने साथ 501 प्रकार के नेग सामग्री तिलक चढ़ाने के लिए अपने साथ ला रहे है। नेग में परिधान, आभूषण, विभिन्न प्रकार के मिष्ठान्न, मेवा, फल आदि शामिल होंगे। तिलकोत्सव को लेकर राम कारसेवकपुरम में तेजी से तैयारी शुरू कर दी गई है।
6 दिसंबर को होगा श्री राम और माता सीता का विवाद
नेपाल के जनकपुर में विवाह पंचमी के दिन 6 दिसंबर को माता सीता और श्री राम का विवाह उत्सव होगा। इसके लिए 26 नवंबर को ही अयोध्या से महाराज दशरथ और श्री राम लक्ष्मण भरत शत्रुघ्न दूल्हे के रूप में नेपाल के लिए बारात लेकर रवाना होंगे। इस बारात में साधु संतों के साथ बड़ी संख्या में प्रबुद्ध और गणमान्य व्यक्ति नेपाल के जनकपुर पहुंचेंगे। प्रभु राम और माता-सीता का यह विवाह न सिर्फ अयोध्या और जनकपुर में उत्सव के रूप में मनाया जाएगा बल्कि इससे भारत और नेपाल के बीच संबंध भी प्रगाढ़ होंगे।
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