आईओसी ने आंतरिक झगड़े के कारण आईओए के लिए ‘ओलंपिक सॉलिडेरिटी फंड’ रोका |

आईओसी ने आंतरिक झगड़े के कारण आईओए के लिए ‘ओलंपिक सॉलिडेरिटी फंड’ रोका

आईओसी ने आंतरिक झगड़े के कारण आईओए के लिए ‘ओलंपिक सॉलिडेरिटी फंड’ रोका

:   Modified Date:  October 11, 2024 / 07:14 PM IST, Published Date : October 11, 2024/7:14 pm IST

नयी दिल्ली, 11 अक्टूबर (भाषा) भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) में चल रही अंदरूनी कलह ने अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (आईओसी) को एथलीट विकास कार्यक्रमों के लिए ‘ओलंपिक सॉलिडेरिटी फंड’ भारतीय संस्था का हिस्सा रोकने के लिए बाध्य कर दिया है जिससे इसकी अध्यक्ष पीटी उषा और कोषाध्यक्ष सहदेव यादव के बीच फिर से शब्दों की जंग शुरू हो गई।

आईओसी ने आठ अक्टूबर को अपनी कार्यकारी बोर्ड की बैठक में यह निर्णय लिया और शुक्रवार को एक पत्र में आईओए को इसकी जानकारी दी।

‘एनओसी रिलेशंस और ओलंपिक सॉलिडेरिटी’ निदेशक जेम्स मैकलियोड ने उषा और कार्यकारी परिषद के सदस्यों को भेजे गए पत्र में कहा गया है, ‘‘आईओए के सामने स्पष्ट रूप से आंतरिक विवाद और प्रशासनिक मुद्दे चल रहे हैं, जिसमें कार्यकारी परिषद के भीतर उठाए गए कई पारस्परिक आरोप शामिल हैं। ’’

उन्होंने इसमें लिखा, ‘‘यह स्थिति बहुत अनिश्चितता पैदा करती है और इसे स्पष्ट करने की जरूरत है और इसलिए अगली सूचना तक आईओसी और ‘ओलंपिक सॉलिडेरिटी’ ओलंपिक छात्रवृत्ति से लाभान्वित होने वाले खिलाड़ियों को सीधे भुगतान के अलावा आईओए को कोई भुगतान नहीं करेगा। ’’

‘ओलंपिक सॉलिडेरिटी’ सभी राष्ट्रीय ओलंपिक समितियों (एनओसी) को ओलंपिक खेलों के प्रसारण अधिकारों का एक हिस्सा प्रदान करती है जिसका उपयोग एथलीट विकास कार्यक्रमों के लिए किया जाता है।

आईओए ने एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर आईओसी के फैसले का दोष सहदेव यादव पर मढ़ा और उन पर अंतरराष्ट्रीय संस्था को जरूरी वार्षिक वित्तीय रिपोर्ट दाखिल करने में विफल रहने का आरोप लगाया।

प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया, ‘‘आईओए आईओसी द्वारा बार-बार याद दिलाने के बावजूद आईओए कोषाध्यक्ष द्वारा आवश्यक वार्षिक वित्तीय रिपोर्ट दाखिल करने में विफल रहने के कारण होने वाले गंभीर वित्तीय नतीजों से बहुत चिंतित है। ’’

इसमें कहा गया, ‘‘इस लापरवाही के कारण आईओए को पिछले कुछ वर्षों से महत्वपूर्ण ‘ओलंपिक सॉलिडेरिटी’ अनुदान से वंचित होना पड़ रहा है जिससे भारतीय एथलीटों को समर्थन देने के आईओए के प्रयासों को बड़ा झटका लगेगा। ’’

इसमें कहा गया है, ‘‘इस चूक से भारतीय खिलाड़ियों को जरूरी वित्तीय सहायता प्रदान करने की आईओए की क्षमता पर महत्वपूर्ण प्रभाव पड़ेगा जिससे आगामी अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं के लिए उनकी तैयारी और प्रदर्शन पर असर पड़ेगा। ’’

आईओए के एक अधिकारी के अनुसार राष्ट्रीय शीर्ष खेल संस्था को पिछले चार वर्षों में ‘ओलंपिक सॉलिडेरिटी फंड’ से सालाना 8.50 करोड़ रुपये मिले हैं।

अधिकारी ने पीटीआई से कहा, ‘‘आने वाले दो वर्षों के लिए हमें पहले आईओसी को वार्षिक वित्तीय रिपोर्ट प्रस्तुत करनी होगी और फिर देखना होगा कि हमें फंड मिलता है या नहीं।’’

भाषा नमिता

नमिता

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)