मैं पहले दो ओवर में छह सात बार कोंस्टास का विकेट ले सकता था : बुमराह |

मैं पहले दो ओवर में छह सात बार कोंस्टास का विकेट ले सकता था : बुमराह

मैं पहले दो ओवर में छह सात बार कोंस्टास का विकेट ले सकता था : बुमराह

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Modified Date: December 28, 2024 / 09:22 AM IST
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Published Date: December 28, 2024 9:22 am IST

मेलबर्न, 28 दिसंबर (भाषा) आस्ट्रेलिया के 19 वर्ष के नये बल्लेबाज सैम कोंस्टास ने भले ही उनके स्पैल में दो छक्के लगाये लेकिन भारत के चैम्पियन तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह ने शनिवार को कहा कि उन्हें कभी लगा नहीं कि वह विकेट से दूर हैं ।

बुमराह ने कहइा कि चौथे टेस्ट के पहले दिन कोंस्टास से रोचक मुकाबला रहा । उन्होंने कहा कि वह पहले दो ओवर में छह सात बार उसे आउट कर सकते थे ।

कोंस्टास ने 65 गेंद में 62 रन बनाये और बुमराह को दो छक्के भी जड़े । टेस्ट क्रिकेट में तीन साल में पहली बार किसी बल्लेबाज ने बुमराह की गेंद पर छक्का लगाया ।

बुमराह ने चैनल 7 से कहा ,‘‘ मैं चीजों को उस तरह से नहीं देखता । मैं अच्छी गेंदबाजी कर रहा हूं और नतीजे मेरे पक्ष में है लेकिन अलग अलग जगहों पर मैने बेहतर गेंदबाजी की है । क्रिकेट में यही होता है कि कई बार आपको विकेट मिलते हैं लेकिन कई बार अच्छी गेंदबाजी करने पर भी विकेट नहीं मिलते । सब कुछ बराबर चलता है ।’’

उन्होंने कहा ,‘‘ मैने 12 साल से अधिक टी20 क्रिकेट खेला है और इसका अच्छा खासा अनुभव है ।’’

बॉर्डर गावस्कर ट्रॉफी में इस साल अब तक 24 विकेट ले चुके बुमराह ने कहा ,‘‘ रोचक बल्लेबाज (कोंस्टास) । मुझे लगा नहीं कि मैं विकेट से दूर हूं । शुरू में मुझे लगा कि पहले दो ओवर में छह सात बार उसे आउट कर सकता हूं लेकिन क्रिकेट में ऐसा ही होता है ।कई बार विकेट मिल जाती है और जब नहीं मिलती तो आप उसी व्यक्ति की आलोचना करते हैं ।’’

उन्होंने कहा ,‘‘ मुझे नयी चुनौतियों का सामना करना पसंद है ।’’

आस्ट्रेलिया में वनडे क्रिकेट में पदार्पण करने वाले बुमराह ने कहा कि यहां उन्होंने हमेशा सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया है ।

उन्होंने कहा ,‘‘ आस्ट्रेलिया में हमेशा सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करता रहा हूं । मैने पहली बार 2018 में यहां टेस्ट खेला था और 2016 में वनडे में पदार्पण किया । यहां काफी चुनौतियां मिलती है क्योंकि विकेट सपाट हैं और नयी गेंद से कूकाबूरा से मदद मिलती है लेकिन बाद में नहीं ।’

उन्होंने कहा ,‘‘ इसलिये आपकी सटीकता की जांच होती है । मौसम आपकी फिटनेस और धैर्य की परख करता है । एक बार इन चुनौतियों से उबरने के बाद आप बेहतर क्रिकेटर बनते हैं ।’’

भाषा मोना

मोना

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)