Temple mosque dispute.. political riots, violence in Sambhal.. ordeal in Budaun

#SarkarOnIBC24 : मंदिर मस्जिद विवाद.. सियासी फसाद, Sambhal में हिंसा.. Budaun में अग्निपरीक्षा

Budaun Masjid Controversy : अयोध्या पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले से लेकर अब तक मंदिर-मस्जिद से जुड़े कई विवाद सामने आ चुके हैं।

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Modified Date: December 3, 2024 / 11:58 PM IST
Published Date: December 3, 2024 11:58 pm IST

लखनऊ : Budaun Masjid Controversy : अयोध्या के सदियों पुराने राम जन्मभूमि विवाद के समाधान के बाद उम्मीद थी कि देश में मंदिर मस्जिद को लेकर होने वाले झगड़ों का अंत हो जाएगा। साल 1991 में संसद में इसके लिए प्लेसेज ऑफ वर्शिप एक्ट भी पास किया गया था, लेकिन इसके बाद भी अयोध्या पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले से लेकर अब तक मंदिर-मस्जिद से जुड़े कई विवाद सामने आ चुके हैं। इस पर विवाद थमता नहीं दिख रहा। दूसरी ओर इन मामलों ने सियासी रंग भी ले लिया है। जिससे ये विवाद बेहद पेचीदा हो गए है।

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Budaun Masjid Controversy :  देश में मंदिर-मस्जिद विवाद ने फिर तूल पकड़ लिया है। कोर्ट के आदेश पर संभल की शाही जामा मस्जिद के सर्वे को लेकर जमकर बवाल हुआ। 5 लोगों की मौत हुई तो करोड़ो रुपए की संपत्ति फूंक दी गई। संभल पर संसद से लेकर सड़क तक सियासी संग्राम छिड़ा है। जो अभी ठंडा भी नहीं पड़ा था कि बदायूं की जामा मस्जिद के नीलकंठ महादेव मंदिर होने के दावे ने नए विवाद को जन्म दे दिया। सिविल कोर्ट में मंगलवार को इस पर सुनवाई होनी थी, जो 10 दिसंबर तक के लिए टल गई।

हिंदू पक्ष का दावा है कि मुस्लिम आक्रमणकारियों ने हिंदू मंदिरों को तोड़कर इन्हें मस्जिद का रुप दे दिया। देश में और खासकर यूपी में लगातार सामने आ रहे मंदिर मस्जिद विवाद पर सियासत भी खूब हो रही है। कांग्रेस और सपा इसे बीजेपी की मूल मुद्दों से लोगों का ध्यान भटकाने की साजिश करार देते हुए निशाना साध रहे हैं, तो बीजेपी इसे हिंदुओं की आस्था से जोड़कर विपक्ष पर पलटवार कर रही है।

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Budaun Masjid Controversy :  मस्जिदों के हिंदू मंदिर होने के दावे कहां आकर थमेंगे ये कोई नहीं जानता। भारत ऐतिहासिक रुप से हिंदू राष्ट्र रहा है, लेकिन मध्यकालीन भारत में मुस्लिम शासकों के आक्रमण और इस्लाम का प्रचार प्रसार भी एक सच्चाई है, लेकिन आज के आधुनिक और धर्मनिरपेक्ष भारत में इतिहास के इन जख्मों को कुरेदने से क्या हासिल होगा ये समझ से परे है। कहीं ना कही इन विवादों ने दो समुदायों के बीच टकराव और तनाव के हालात जरुर बन दिए हैं। जिस पर सियासत गर्म है तो खामियाजा आम लोग भुगत रहे हैं।

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