Basant Panchami Kab Hai। Image Credit: IBC24 File
Basant Panchami Kab Hai: हिंदू धर्म में तीज-त्योहारों का विशेष महत्व है। जिसे धूमधाम से मनाया जाता है। ठीक इसी प्रकार हिंदू धर्म में बसंत पंचमी का दिन ज्ञान की देवी मां सरस्वती के लिए समर्पित माना गया है। धार्मिक मान्यता है कि अगर इस दिन कोई व्यक्ति मां सरस्वती की विधिवत रूप से पूजा-अर्चना करता है, तो उसे शिक्षा के क्षेत्र में अपार सफलता मिल सकती है। मालूम हो कि, हर साल माघ मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी को बसंत पंचमी का पर्व मनाया जाता है। ऐसे में इस साल तीन फरवरी सोमवार को बसंत पंचमी मनाई जाएगी। पंचमी तिथि के दिन श्रद्धालु मां सरस्वती की पूजा अर्चना विधि-विधान के साथ करेंगे। ऐसे में इस बार बसंत पचंमी को लेकर कई लोगों में कंफ्यूजन है कि, 2 को है या फिर 3 फरवरी को मनाई जाएगी। वहीं इस दिन मां सरस्वती की प्रतिमा को घर में स्थापित करते समय वास्तु के कुछ नियमों का पालन करना चाहिए।
इस बार माह शुक्ल पंचमी तिथि की शुरुआत 2 फरवरी को सुबह 9:14 मिनट पर होगी। वहीं, इस तिथि का समापन 3 फरवरी को सुबह 6:52 मिनट पर होगा ऐसे में उदया तिथि के अनुसार, साल 2025 में बसंत पंचमी 2 फरवरी को मनाई जाएगी।
परंपराओं के अनुसार, पूरे साल को छह ऋतुओं में बांटा गया है, जिसमें बसंत ऋतु, ग्रीष्म ऋतु, वर्षा ऋतु, शरद ऋतु, हेमंत ऋतु और शिशिर ऋतु हैं। इन ऋतुओं में से बसंत ऋतु को सभी ऋतुओं का राजा माना जाता है। ऐसे में जिस दिन से बसंत ऋतु की शुरुआत होती है, उस दिन को बसंत पंचमी के पर्व के रूप में मनाया जाता है। बसंत ऋतु में न तो ज्यादा ठंड होती है और न ही ज्यादा गर्मी और मौसम सुहावना रहता है।
Basant Panchami Kab Hai: घर में मां सरस्वती की तस्वीर अवश्य होनी चाहिए, लेकिन उनकी प्रतिमा स्थापित करने के लिए कुछ विशेष नियमों का पालन करना आवश्यक है। केवल शोपीस के रूप में मां सरस्वती की तस्वीर रखना उचित नहीं है। एक बार स्थापित करने के बाद, उनकी तस्वीर की नियमित पूजा-अर्चना करनी चाहिए। घर में मां सरस्वती की तस्वीर लगाने से सफलता में आने वाली बाधाएं दूर होती हैं और व्यक्ति का ज्ञान भी बढ़ता है।