खत्म होगा किसान आंदोलन? कोरोना संक्रमण को देखते हुए केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने की किसानों से अपील | Tomar appeals to farmers to end agitation amid increasing number of covid cases

खत्म होगा किसान आंदोलन? कोरोना संक्रमण को देखते हुए केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने की किसानों से अपील

खत्म होगा किसान आंदोलन? कोरोना संक्रमण को देखते हुए केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने की किसानों से अपील

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 07:58 PM IST, Published Date : April 10, 2021/2:51 pm IST

नयी दिल्ली:  कोविड-19 के मामलों में वृद्धि के बीच केन्द्रीय कृषि मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने दिल्ली की सीमाओं पर लंबे समय से विरोध प्रदर्शन कर रहे किसानों से आंदोलन को वापस लेने की अपील की और कहा कि जब भी वे कोई ठोस प्रस्ताव के साथ आयेंगे तो सरकार चर्चा के लिए तैयार है। केन्द्र के तीन नये कृषि कानूनों के खिलाफ किसान पिछले लगभग पांच महीनों से आंदोलन कर रहे हैं। केन्द्र सरकार और आंदोलनकारी किसान यूनियनों के बीच 22 जनवरी को हुई औपचारिक वार्ता के 11वें और अंतिम चरण के बाद भी इस मुद्दे का कोई समाधान नहीं निकल सका था।

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तोमर ने किसानों के स्वास्थ्य के बारे में चिंता व्यक्त की, क्योंकि भारत में शनिवार को कोरोना वायरस संक्रमण के 1.45 लाख से अधिक मामले सामने दर्ज किये गये है। उन्होंने कहा, ‘‘अब महामारी की दूसरी लहर में, पूरा देश और दुनिया कोविड-19 प्रोटोकॉल का पालन कर रही है। यहां तक कि विरोध करने वाले किसानों को भी प्रोटोकॉल का पालन करना चाहिए। उनका जीवन हमारे लिए महत्वपूर्ण है।’’

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तोमर ने पत्रकारों से कहा, ‘‘कोविड-19 की मौजूदा स्थिति में मैं उनसे (आंदोलनकारी किसानों) से अपना विरोध वापस लेने का आग्रह करता हूं। जब भी वे किसी प्रस्ताव के साथ आयेंगे तो सरकार चर्चा के लिए तैयार है।’’ मंत्री ने दावा किया कि नए कृषि कानूनों को लेकर देशभर में किसान समुदाय में ‘‘असंतोष’’ नहीं है और यहां तक कि कई कृषि निकाय इन कानूनों के पक्ष में है जबकि कुछ उनका विरोध कर रहे हैं।

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उन्होंने कहा, ‘‘हम एक लोकतांत्रिक देश है, चाहे वह किसान हो या नागरिक, अगर उन्हें कोई संदेह है, तो सरकार का मानना है कि यह उसकी जिम्मेदारी है कि वह शंकाओं को दूर करे और कोई समाधान निकाले।’’ तोमर ने कहा कि तीनों कानूनों को अचानक तैयार नहीं किया गया था, और पूर्व में एक लंबी चर्चा हुई थी और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इसे आगे बढ़ाया। उन्होंने कहा कि सामान्य तौर पर कोई भी विरोध तब जारी रहता है जब सरकार बातचीत के लिए तैयार नहीं होती है। लेकिन इस सरकार ने आंदोलन कर रहे किसान संघों के प्रतिनिधियों के साथ खुले दिल से 11 दौर की चर्चा की, फिर भी उनका आंदोलन नहीं रुका।

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मंत्री ने कहा, ‘‘हमने प्रस्ताव दिया कि इन कानूनों और एमएसपी (मुद्दे) पर गौर करने के लिए एक समिति का गठन किया जाए। समिति द्वारा अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करने के बाद सरकार चर्चा करेगी। देशभर में इस प्रस्ताव का स्वागत किया गया था, लेकिन आंदोलनकारी किसानों ने किसी कारण का हवाला दिए बिना इसे अस्वीकार कर दिया।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हमने कृषि यूनियनों को अपने खुद के प्रस्ताव के साथ आने के लिए कहा था और हम उस पर भी चर्चा के लिए तैयार थे।’’ उन्होंने कहा कि सरकार आज भी वार्ता के लिए तैयार है। तोमर ने दोहराया कि उन्होंने सभी 11 दौर की बैठकों में किसान यूनियनों से अपील की थी कि वे महामारी के मद्देनजर वरिष्ठ नागरिकों और बच्चों को विरोध स्थलों से वापस भेजें।

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मंत्री ने यह भी कहा कि आंदोलनकारी किसानों को समझना चाहिए कि आम नागरिकों को सीमा पर उनके विरोध के कारण कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है। भारत में शनिवार को कोरोना वायरस संक्रमण के 1,45,384 नये मामले सामने आने के बाद संक्रमितों की कुल संख्या बढ़कर 1,32,05,926 पर पहुंच गई है।

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