सूर्य ग्रहण पर बन रहा ये संयोग जो 500 साल में नहीं बना, 6 ग्रह रहेंगे वक्री, जानिए राशियों पर क्या होगा इसका असर | This coincidence being made on solar eclipse, which did not happen in 500 years, 6 planets will remain retrograde, know what will be the effect on zodiac signs

सूर्य ग्रहण पर बन रहा ये संयोग जो 500 साल में नहीं बना, 6 ग्रह रहेंगे वक्री, जानिए राशियों पर क्या होगा इसका असर

सूर्य ग्रहण पर बन रहा ये संयोग जो 500 साल में नहीं बना, 6 ग्रह रहेंगे वक्री, जानिए राशियों पर क्या होगा इसका असर

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Modified Date: November 28, 2022 / 09:37 PM IST
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Published Date: June 21, 2020 3:55 am IST

रायपुर। साल का पहला सूर्यग्रहण आज लगने जा रहा है। ये वलयाकार सूर्य ग्रहण होगा। ऐसा नजारा धरती पर कम ही देखने को मिलता है। सूर्य एक चमकती अंगूठी की तरह दिखेगा। ये न तो आंशिक ग्रहण होगा और न ही पूर्ण। चंद्रमा की छाया सूर्य का 99 फीसदी भाग ढकेगी। ऐसे में सूर्य के किनारे वाला हिस्सा प्रकाशित रहेगा और बीच का हिस्सा पूरी तरह से चांद की छाया से ढक जाएगा। इस ग्रहण को बिहार समेत देश व दुनिया के विभिन्न हिस्सों में देखा जायेगा। इस ग्रहण को ज्योतिष शास्त्र में काफी महत्व दिया जा रहा है।

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ज्योतिष के मुताबिक इस सूर्य ग्रहण के समय ग्रह और नक्षत्रों का ऐसा संयोग बनने जा रहा है जो पिछले 500 सालों में नहीं बना। ग्रहण मृगशिरा, आद्र्रा नक्षत्र और मिथुन राशि में लगेगा। ग्रहण के दौरान कई ग्रहों की वक्री स्थिति सूर्य ग्रहण को बहुत ही अधिक प्रभावशाली बनाएगी। ज्योतिष अनुसार ग्रहण प्राकृतिक आपदाओं का कारक बन सकता है। ये ग्रहण भारत में दिखाई देने वाला है इसलिए इसका सूतक भी मान्य होगा। सूतक काल की शुरुआत शनिवार की रात 10.17 बजे से हो गयी है।

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छह ग्रह रहेंगे वक्री
सूर्यग्रहण के समय एक साथ छह ग्रह वक्री यानी उल्टी चाल चल रहे होंगे। बुध, गुरु, शुक्रशनि, राहू व केतु वक्री रहेंगे। यह ग्रहण आर्थिक मंदी की ओर इशारा कर रहा है। वहीं ग्रहण के समय मंगल जलतत्व की राशि में बैठकर सूर्य, बुध, चंद्रमा और राहू पर दृष्टि कर रहा है। यह सब भारी बारिश की ओर संकेत दे रहा है। दूसरी ओर वृहतसंहिता के हवाले से कहा कि एक माह में दो से अधिक ग्रहण लगने से आमजन को कष्टों का सामना करना पड़ सकता है।

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रविवार को खंडग्रास कंकण सूर्यग्रहण लगेगा। रविवार के कारण यह चूड़ामणि योग में लग रहा है। मिथिला विवि. पंचांग के हिसाब से बिहार में रविवार को सुबह 10.27 बजे से दोपहर 1.52 बजे तक इसे देखा जा सकेगा।

ग्रहण स्पर्श: सुबह 10.17 बजे
मध्य : मध्याह्न 12.10 बजे
समापन: दोपहर 2.02 बजे

मेष, सिंह, कन्या व मकर के लिए लाभप्रद
ज्योतिषी के मुताबिक यह खंडग्रास सूर्यग्रहण मेष, सिंह, कन्या और मकर को लाभ देने वाला है। मेष को धन का लाभ, सिंह को लाभ, कन्या व मकर को सुख की प्राप्ति होगी। बाकी राशियों के लिये यह मध्यम है। वैसे इस ग्रहण का प्रभाव एक महीना ही रहेगा। जिन राशियों के लिये यह ग्रहण शुभ फलदायी नहीं है उन्हें यह ग्रहण नहीं देखना चाहिये।

धार्मिक मान्यताएं
– ग्रहण के समय किसी भी तरह के शुभ काम नहीं करने चाहिए
– ग्रहण के समय न तो कुछ खाना चाहिए और न ही कुछ पीना
– ग्रहण से पहले खाने-पीने की चीजों में तुलसी के पत्ते डालकर रख देने चाहिए
– ग्रहण काल में प्रभु का स्मरण करते हुए पूजा, जप, दान आदि धार्मिक कार्य करें
– सूर्य की उपासना,आदित्य हृदयस्रोत, गायत्री मंत्र का जाप
– ग्रहण का सूतक काल लगते ही घर में बने पूजास्थल को भी ढक दें
– ग्रहण समाप्ति के बाद स्नान कर लें और पूजा स्थल को भी साफ कर गंगाजल का छिड़काव करें

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गत वर्ष 26 दिसंबर को सूर्यग्रहण था। छह मास बाद दूसरा सूर्यग्रहण है। इस दौरान ग्रह गोचरों की स्थिति बहुत अच्छी नहीं कही जा सकती है। इससे कई तरह की आपदाएं, महामारी, जनमानस में असौहाद्र्र, शत्रु उपद्रव जबकि राहू से साजिशें, बीमारियों से देश अस्त-व्यस्त रहा है। इस सूर्यग्रहण के बाद इन चीजों में कमी आएगी। यह ग्रहण मिथुन राशि में लगेगा, जबकि राहू भी मिथुन राशि में है। राहू मिथुन से 25 सितंबर को निकलेगा। यानी इसके बाद परिस्थितियां अनुकूल होती जाएंगी।