नई दिल्ली। भारत में कोरोना से मचे कोहराम के बीच कई देशों ने भारत की सहायता के लिए हाथ बढ़ाए हैं। अमेरिका ने कहा है कि वह कोविशील्ड वैक्सीन के उत्पादन के लिए भारत को जरूरी खास कच्चा माल तत्काल उपलब्ध कराएगा। अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने सोमवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से फोन पर बात की और भारत की मौजूदा स्थितियों का हाल जाना।
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अमेरिकी डेवलपमेंट फाइनेंस कॉरपोरेशन भारत में टीका उत्पादक बायोई के उत्पादन क्षमता को काफी हद तक बढ़ाने के लिए पैसे दे रहा है, ताकि भारत 2022 के अंत तक कोरोना की कम से कम एक अरब खुराक तैयार कर ले। इसके अलावा अमेरिका रोग नियंत्रण केंद्र और अंतरराष्ट्रीय विकास एजेंसी से जन स्वास्थ्य विशेषज्ञों की एक टीम तैनात कर रहे हैं, जो अमेरिकी दूतावास, भारत के स्वास्थ्य मंत्रालय एवं विभागों और भारत के महामारी खुफिया विभाग के स्टाफ के साथ करीबी समन्वय से काम कर सके।
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भारत में तेजी से बढ़ रहे कोरोना के मामलों को देखते हुए अमेरिकी राष्ट्रपति के सुरक्षा सलाहकार जेक सुरविन ने रविवार को भारतीय एनएसए अजीत डोभाल से फोन पर बात की। उन्होंने कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई में पूरी एकजुटता प्रकट की। इस संबंध में अमेरिकी सुरक्षा सलाहकार की प्रवक्ता एमिली हॉर्न ने कहा कि हम इस वक्त भारत की हर मदद करने के लिए संकल्पबद्ध हैं। अमेरिका ने कोविशील्ज टीके के भारतीय उत्पादन के लिए तत्काल जरूरी विशेष कच्चा माल के स्रोत की पहचान की है, जिन्हें तुरंत भारत को उपलब्ध कराना है।
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पीएम मोदी ने ट्वीट कर बताया कि हमने कोविड की स्थिति पर बात की। वैक्सीन के कच्चे माल और दवाओं की निर्बाध आपूर्ति पर बात हुई। भारत और अमेरिका स्वास्थ्य क्षेत्र के सामने इस चुनौती से मिलकर लड़ेंगे। मोदी ने कोरोना के खिलाफ भारत को अमेरिका के सहयोग के लिए राष्ट्रपति बाइडेन को धन्यवाद दिया।
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इससे पहले रविवार को व्हाइट हाउस के एक शीर्ष अधिकारी ने कहा है कि बाइडेन प्रशासन सभी संसाधन और आपूर्तियों को भेजने के लिए हर वक्त काम कर रहा है। कच्चे माल के निर्यात पर रोक के लिए बाइडेन प्रशासन को आलोचना का सामना करना पड़ रहा था। आलोचना करने वालों में डेमोक्रेटिक पार्टी के सदस्य एवं समर्थक भी शामिल हैं।
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2 hours ago