इंदौर। कोरोना काल में सवा दो महीने के बाद अब मध्यप्रदेश के सभी बड़े धर्मस्थल खोले जाने की तैयारी है। केंद्र सरकार ने लॉकडाउन-5 में 8 जून से धार्मिक स्थलों को खोलने की अनुमति दे दी है, सभी धर्मस्थल सुबह 8 से शाम 5 बजे तक खोले जा सकेंगे। इस दौरान सभी को सरकार की गाइडलाइन का सख्ती से पालन करना होगा।
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केंद्र सरकार के ढील दिए जाने के बावजूद इंदौर के सुप्रसिद्ध खजराना गणेश मंदिर को खोजे जाने को लेकर कशमकश बरकरार है, दरअसल कंटेनमेंट एरिया के धार्मिक स्थल नहीं खोले जाने के निर्देश हैं। ऐसे में खजराना मंदिर खोला जाएगा या नहीं इस पर सस्पेंस बरकरार है। हालांकि खजराना गणेश प्रबंधन ने पूरे मंदिर को सैनिटाइज कर दिया है। सोशल डिस्टेंसिंग के लिए भी खास इंतजाम किए गए हैं।
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केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से जारी की गई गाइडलाइन का पालन करते हुए धार्मिक स्थल खुलेंगे,लेकिन मूर्ति छूने,प्रसाद बांटने और जल छिड़कने पर पाबंदी रहेगी, साथ ही गर्भगृह में प्रवेश बंद रहेगा। पुजारी अशोक भट्ट ने बताया कि मंदिर खोलने के लिए पूरी तैयारी है,लेकिन कलेक्टर के आदेश का इंतज़ार है।
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मध्यप्रदेश के इंदौर में स्थित खजराना गणेश मंदिर भक्तों में काफी लोकप्रिय हैं। खजराना गणेश से जुड़़ी मान्यता है कि यहां भक्तों की हर मनोकामना पूरी होती है। मन्नत पूरी होने पर भक्त भगवान गणेश की प्रतिमा की पीठ पर उल्टा स्वास्तिक बनाते हैं और भगवान गणेशजी को मोदक का भोग लगाया जाता है।
इंदौर का खजराना स्थित गणेश मंदिर का निर्माण 1735 में होलकर वंश की महारानी अहिल्याबाई ने करवाया था। मान्यताओं के अनुसार श्रद्धालु इस मंदिर की तीन परिक्रमा लगाते हैं और मंदिर की दीवार पर धागा बांधते हैं।
वैसे तो भगवान गणेश की पूजा-अर्चना हर शुभ कार्य करने से पहले की जाती है, लेकिन खजराना गणेश मंदिर में भक्तों की सबसे अधिक भीड़ बुधवार को होती है। बुधवार को भगवान गणेश की पूजा करने के लिए भक्त दूर-दूर से यहां पहुंचते हैं। इस दिन यहां विशेष आरती आयोजित की जाती है।