नई दिल्ली। कोरोना के लिए 20 लाख करोड़ के राहत पैकेज का ऐलान किया गया है, उससे उद्योग जगत को तो बड़ा फायदा मिलेगा ही, साथ ही कर्मचारियों पर भी इसका सीधा-सीधा असर देखने को मिलेगा।
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सरकार ने पीएफ अंशदान में दी जा रही राहत को अगले तीन महीनों के लिए और बढ़ा दिया है। सरकार की इस कोशिश से जहां नियोक्ताओं को तो राहत मिलेगी ही, कर्मचारियों की सैलरी में भी इजाफा होगा। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बुधवार को एमएसएमई सेक्टर को 3 लाख करोड़ के राहत पैकेज का ऐलान करते हुए पीएफ अंशदान को बढ़ाने का फैसला किया है।
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वित्त मंत्री ने कहा कि कर्मचारियों के पीएफ को 12 फीसदी से घटाकर 10 फीसदी किए जाने का फैसला अगले 3 महीने तक जारी रहेगा। ये मदद जून, जुलाई और अगस्त महीने तक जारी रहेगी. पहले राहत स्कीम मार्च, अप्रैल और मई महीने तक दी गई थी। कर्मचारियों का 12 फीसदी की जगह 10 फीसदी ईपीएफ कटेगा। वहीं सरकार और पीएसयू को 12 फीसदी ही देना होगा।
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वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि 15 हजार रुपये से कम वेतन वालों का ईपीएफ अगस्त तक केंद्र सरकार देगी। इसमें कर्मचारी और नियोक्ता, दोनों का योगदान सरकार दे रही है। सरकार के इस फैसले से 3.67 लाख कंपनियों और 72.22 लाख कर्मचारियों को फायदा होगा. इस राहत से सरकार का करीब 2500 करोड़ रुपये खर्च होगा।
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सरकार के इस ऐलान का फायदा सिर्फ उन्हीं कंपनियों को मिलेगा, जिनके पास 100 से कम कर्मचारी हैं और उनमें से 90 फीसदी कर्मचारियों की सैलरी 15,000 रुपये से कम है. ध्यान रखें कि 15 हजार से ज्यादा सैलरी पाने वालों को इसका फायदा नहीं मिलेगा।