बिलासपुर। वैश्विक महामारी कोरोना से युद्ध में पूरा देश एकजुट है। हर कोई इस युद्ध में अपनी भूमिका सुनिश्चित कर कोरोना से जंग लड़ रहा है। बिलासपुर में ऐसे ही एक युवा योद्धा 9वीं के छात्र अर्चित मोदी ने कोरोना से युद्ध के लिए रेलवे कोच के डबल डेकर ट्रेन का मॉडल तैयार किया है। छात्र अपनी ये डिज़ाइन भारतीय रेलवे को समर्पित करना चाहते हैं। उन्होंने इसका नाम ‘मां की गोद’ रखा है, उनका कहना है मां की गोद में हर कोई सुरक्षित है।
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इसकी खासियत ये है कि इसमें कोरोना पीड़ित के मेडिकल सुविधा के साथ कोरोना फाइटर डॉक्टर्स के ड्यूटी के बाद रेस्ट करने की भी सुविधा दी जा सकती है। इस डबल डेकर ट्रेन के मॉडल को ‘माँ की गोद’ नाम दिया गया है। मॉडल तैयार करने वाले छात्र अर्चित ने बताया कि वैश्विक महामारी कोरोना से लड़ने में डॉक्टर्स और हॉस्पिटल की बड़ी भूमिका है। ऐसे में उन्होंने उनकी सुविधा के लिए रेलवे कोच के डबल डेकर ट्रेन का मॉडल तैयार किया है।
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वहीं सोशल डिस्टेंसिंग के पालन के साथ इसमे नीचे की तरफ पेशेंट को पूरी मेडिकल सुविधा के साथ एडमिट कर सकते हैं। ऊपर के कोच में डॉक्टर्स जो कि इस कोरोना युद्ध में अपनी जान की बाजी लगा रहे हैं वो शिफ्ट में आराम कर सकते हैं। उनकी सोच है, अगर डॉक्टर सुरक्षित हैं तो हम सुरक्षित हैं। यह एक कम बजट में और कम जगह के उपयोग के साथ ज्यादा सुविधा देने वाली रेलवे कोच बन सकती है।
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