अनियमित कर्मचारियों का शोषण, ऑफिस के बाद अधिकारी बंगले में करवाते हैं झाड़ू-पोछा बर्तन और टॉयलेट साफ | Exploitation of irregular employees in raipur

अनियमित कर्मचारियों का शोषण, ऑफिस के बाद अधिकारी बंगले में करवाते हैं झाड़ू-पोछा बर्तन और टॉयलेट साफ

अनियमित कर्मचारियों का शोषण, ऑफिस के बाद अधिकारी बंगले में करवाते हैं झाड़ू-पोछा बर्तन और टॉयलेट साफ

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Modified Date: November 29, 2022 / 07:59 PM IST
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Published Date: August 28, 2019 9:50 am IST

रायपुर। छत्तीसगढ़ में सैकड़ों अनियमित कर्मचारियों का शोषण हो रहा है। अधिकारी उन्हें ऑफिस के बाद अपने बंगलों में ड्यूटी लगा रहे हैं, और यह ड्यूटी है झाडू-पोछा, बर्तन और टायलेट साफ करने की। इस ड्यूटी से परेशान एक अनियमित कर्मचारी ने जब काम नहीं करने की बात कही तो साहब नें उन्हें अपना बोरिया बिस्तर समेटने की धमकी दी और अगले दिन ही नोटिस थमा दिया।

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छत्तीसगढ़ वक्फ प्राधिकरण के पीठासीन अधिकारी लीलाधर सारधी अपने बंगले में प्राधिकरण के अनियमित कर्मचारियों से घरेलु काम कराते है। इस काम से परेशान अनियमित कर्मचारी महेश साहू ने बंगले में झाडू-पोछा, बर्तन और टायलेट साफ करने वाला अपना वीडियो बनाया। बकायदा इस वीडियो को कर्मचारी ने सीएम भूपेश बघेल को ट्वीटर में टैग किया। लेकिन उन्हें राहत नहीं मिली बल्कि पीठासीन अधिकारी ने उन्हें अवकाश लेने के नाम पर नोटिस थमा दिया। कर्मचारी का कहना है कि मैं पढ़ा लिखा हूं, वक्फ प्राधिकरण में नौकरी करता हूं लेकिन पीठासीन अधिकारी अपने घर में झाड़ू-पोछा से लेकर टॉयलेट तक साफ कराते हैं। इससे आत्मसम्मान को ठेस पहुंचता है।

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अनियमित कर्मचारी महेश साहू की इस पीड़ा पर बातचीत करने के लिए जब आईबीसी 24 की टीम वक्फ प्राधिकरण के कार्यालय पहुंची। तब पीठासीन अधिकारी लीलाधर सारथी ने कैमरा बंद करने की बात कही। उन्होंने कहा कि मैं ज्यूडिशल ऑफिसर हूं, आप वीडियो नहीं बना सकते। उन्होंने यह भी कहा कि उन्हें भृत्य रखने का अधिकार है। लेकिन क्या अनियमित कर्मचारी से अपने बंगले में भृत्य का काम करा सकते हैं? इस सवाल पर वे चुप हो गए

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वहीं वक्फ बोर्ड के पीठासीन अधिकारी के इस हरकत पर छत्तीसगढ़ कर्मचारी संघ काफी आक्रोश में है। संघ के पदाधिकारियों का कहना है कि नियमों में साफतौर पर उल्लेख है कि कोई भी चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी अधिकारियों के घरों में काम नहीं करेगा। लेकिन अफसरशाही हावी होने के कारण नियमों की धज्जियां उड़ रही है। कर्मचारी संघ के पदाधिकारियों का कहना है कि इस मामले पर बहुत जल्द बैठक कर अधिकारियों के खिलाफ धरना-प्रदर्शन किया जाएगा और मुख्यमंत्री से मुलाकात कर चर्चा करेंगे। एक ओर जहां सरकार ने अनियमित कर्मचारियों को नियमित करने के संबंध में डाटा मंगाया है तो वहीं अधिकारी इन कर्मचारियों की मजूबरी का फायदा उठाकर अपने बंगलों में काम करा रहे हैं।

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