बस्तर /जांजगीर/डोंगरगढ़ । छत्तीसगढ़ में इन दिनों पर्यटन को बढ़ावा देने बहुत से काम किये जा रहे हैं। इसी के चलते जांजगीर-चाम्पा के अकलतरा क्षेत्र के कोटमीसोनार गांव में स्थित छग के पहले क्रोकोडायल पार्क इन दिनों आकर्षण का केंद्र बना हुआ है। इसी के चलते नए साल के अवसर पर आज हजारों की संख्या में पर्यटकों के आने का सिलसिला जारी है।
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बता दें कि कोटमीसोनार के क्रोकडायल पार्क में 3 सौ से अधिक मगरमच्छ हैं. यहां केयरटेकर सीताराम द्वारा मगरमच्छों को आवाज देकर बुलाया जाता है तो मगरमच्छ भागते आते है। जिसे देखकर पर्यटकों में बहुत अधिक उत्साह देखा जाता है। आवाज़ सुनकर आने वाले मगरमच्छो को देखने के लिए कोटमीसोनार के क्रोकोडायल पार्क में छग के अलावा देश के दूसरे प्रदेशों से भी पर्यटक आते है। पर्यट्कों की सुविधा को ध्यान में रख कर वन विभाग ने नए साल में खासी तैयारी की थी।
ऐसा ही नज़रा देखने मिला बस्तर में जहां नए साल का जश्न मानाने सैकड़ों की संख्या में पर्यटक बस्तर पहुंचे हैं। बता दें कि इन दिनों शहर की सभी होटल रिसोर्ट और पर्यटन केंद्र बुक है और जगह-जगह जश्न का आयोजन भी हो रहा है प्राकृतिक सुंदरता के बीच नए साल का जश्न देखते ही बनता है। ज्ञात हो कि लंबे समय से बस्तर में शांति के बाद अब बड़ी संख्या में पर्यटक नए साल का जश्न मनाने बस्तर पहुंच रहे हैं.
चित्रकूट तीरथगढ़ दंतेश्वरी मंदिर सहित दर्जनों ऐसे प्राकृतिक पर्यटन पर्यटक स्थल भी है जहां इस समय पर्यटकों का जमावड़ा लगा हुआ है कड़ाके की ठंड के बीच पर्यटकों का जोश नए साल के स्वागत के लिए कम नहीं हुआ है। बता दें कि चित्रकूट तीरथगढ़ फॉल में पर्यटकों की सबसे ज्यादा तादाद दिखाई दे रही है इन दोनों ही जलप्रपात की सुंदरता ठंड में देखने लायक होती है लिहाजा पर्यटक नए साल में इन जलप्रपात की सुंदरता निहारने पहुंचते हैं।
इसी के साथ नव वर्ष के मंगलमय शुरुआत के लिए श्रद्धालु मां बमलेश्वरी देवी के दरबार डोंगरगढ़ रात से पहुंचना शुरू कर दिए हैं।बता दें कि प्रतिवर्ष नव वर्ष के आरंभ में हजारों की संख्या में भक्त मां बमलेश्वरी के दरबार पहुंचते हैं। नववर्ष की भक्तिमय शुरुआत के लिए आज सुबह से ही मां बमलेश्वरी देवी के मंदिर डोंगरगढ़ में भक्तों का ताता लगा रहा। लोग यहां पर मां बमलेश्वरी के दर्शन कर नव वर्ष मंगलमय बीतने की कामना की। नववर्ष के प्रथम दिन बड़ी संख्या में भक्त देश भर के विभिन्न राज्यों से मां बमलेश्वरी देवी के मंदिर पहुंचे हैं। ज्ञात हो कि पहाड़ों पर विराजित मां बमलेश्वरी पर आस्था रखने वाले लोग प्रतिवर्ष अपने नववर्ष की शुरुआत मां बमलेश्वरी से आशीर्वाद लेकर करते हैं।