भोपाल: दमोह में कल विधानसभा उपचुनाव के लिए मतदान होना है, लेकिन वोटिंग के एक दिन पहले ही सियासी दंगल देखने को मिला। मुद्दा रहा एक संदिग्ध गाड़ी, जिसमें वल्लभ भवन का स्टीकर लगा हुआ था और मिली गाड़ी में नोटों से भरे हुए बैग होने की शिकायत भी मिली। इस पर कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने जमकर हंगामा किया। इससे पहले कि कुछ पूर्व सीएम कमलनाथ सहित कांग्रेस ने बीजेपी पर दमोह चुनाव में धनबल की राजनीति करने का आरोप लगाया। वहीं, बीजेपी ने इसे कांग्रेस की हताशा बताते हुए पलटवार किया कि कांग्रेस दमोह में माहौल खराब करना चाहती है।
दमोह में मतदान से एक दिन पहले इन तस्वीरों को लेकर उपचुनाव में निष्पक्ष मतदान को लेकर कई सवाल खड़े हो गए हैं। दरअसल मध्यप्रदेश शासन लिखी इस गाड़ी को लेकर कांग्रेस ने मतदान से पहले वोटरों को खरीदने का आरोप लगाए हैं। कांग्रेस का आरोप है कि संदिग्ध गाड़ी नोटों से भरी थी। पैसे का उपयोग चुनाव में वोटों को खरीदने के लिए किया जाने वाला था। कांग्रेस के नेताओं ने गाड़ी की जांच की मांग की पर इससे पहले ही गाड़ी का ड्राइवर गाड़ी लेकर फरार हो गया। हालांकि बाद में इस गाड़ी को सागर के गढ़ाकोटा में पकड़ा गया, जहां पुलिस ने कहा कि गाड़ी के अंदर पैसे नहीं थे।
कांग्रेस के इन आरोपों के बाद में पूरी कांग्रेस पार्टी अपने प्रत्याशी अजय टंडन के समर्थन में खड़ी हुई और कांग्रेस ने इसे लोकतंत्र को खरीदने की साजिश बताया। पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने आरोप लगाए कि बीजेपी सरकार में रहते हुए धन बल और सत्ता बल का दुरुपयोग कर रही है उपचुनाव में वोटरों को खरीदने की कोशिश की जा रही है। वहीं बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष बीडी शर्मा ने पलटवार किया कि.. कांग्रेस चुनाव से पहले दमोह का माहौल खराब करना चाहती है।
चुनावों में धनबल के उपयोग का आरोप कोई नया नहीं है, लेकिन कोरोना काल में दमोह के अंदर जिस तरीके से सरकार और बीजेपी की प्रतिष्ठा दांव पर लगी है। ऐसे में कांग्रेस के आरोप उपचुनाव में बीजेपी की मुश्किलें खड़ी कर सकते हैं। ये चुनाव बीजेपी और कांग्रेस के लिए सरकार बनाने या गिराने से ज्यादा खुद की साख को साबित करने का है। लिहाजा चुनाव जीतने सारे हथकंडे अपनाए जा रहे हैं ।