रायपुर: कोरोना संकट के बीच राजधानी रायपुर से एक बड़ी खबर सामने आई है। खबर है कि रायपुर एम्स में भर्ती कोरोना मरीजों के उपचार के लिए प्लाज्मा थेरेपी का क्लिनिकल ट्रायल किया जाएगा। बताया जा रहा है कि प्लाज्मा थेरेपी का ट्रायल 18 साल से अधिक उम्र के मरीजों पर किया जाएगा। वहीं, गर्भवती महिलाओं, स्तनपान करवा रही महिलाओं और किसी अन्य ट्रायल से संबंधित रोगियों को शामिल नहीं किया जाएगा। इस बात की जानकारी एम्स प्रबंधन ने दी है।
Read More: पूर्व मंत्री रामविचार नेताम के PSO ने की खुदकुशी, सरकारी आवास में फांसी पर लटकती मिली लाश
एम्स रायपुर के डायरेक्टर सुनील एम नागरकर ने मीडिया से बात करते हुए बताया कि देशभर में होने वाले प्लाज्मा थैरेपी के क्लिनिकल ट्रायल का भाग बनने जा रहा है। इसके माध्यम से आईसीएमआर द्वारा किए जा रहे वृहद स्तर के क्लिनिकल ट्रायल में एम्स भी अपना अहम योगदान देगा।
Read More: कोरोना संकट के बीच ऐसे कराएं रोजगार पंजीयनऔर रिनिवल, जिला प्रशासन ने जारी किया निर्देश
रिसर्च प्रोटोकॉल के अनुसार इस ट्रायल में उन रोगियों को शामिल किया जाएगा जो 18 वर्ष से अधिक आयु के हैं और उनके रक्त से संबंधित डोनर प्लाज्मा उपलब्ध है। इसमें गर्भवती महिलाओं, स्तनपान करवा रही महिलाओं और किसी अन्य ट्रायल से संबंधित रोगियों को शामिल नहीं किया जाएगा।
Read More: BSUP कॉलोनी सड्डू सहित इन इलाकों को भी घोषित किया गया कंटेनमेंट जोन, देखिए पूरी सूची
इसमें इंटरवेंशन और कंट्रोल आर्म ग्रुप बनाए जाएंगे।इंटरवेंशन आर्म में शामिल रोगियों को 200 मिली का कोवल्सेंट प्लाज्मा दिया जाएगा जबकि कंट्रोल ग्रुप में सामान्य उपचार प्रदान किया जाएगा। इन रोगियों का एक, तीन, सात, 14 और 28 दिनों में प्रथम ट्रांसफ्यूजन के बाद परीक्षण किया जाएगा।
Read More: स्कार्पियो ने एक्टिवा को मारी ठोकर, दो युवक की दर्दनाक मौत, 1 की हालत गंभीर
एम्स रायपुर देशभर में होने वाले प्लाज्मा थैरेपी के क्लिनिकल ट्रायल का भाग बनने जा रहा है। इसके माध्यम से आईसीएमआर द्वारा किए जा रहे वृहद स्तर के क्लिनिकल ट्रायल में एम्स भी अपना अहम योगदान देगा। #CoronaUpdatesInIndia #Coronaresearch pic.twitter.com/rVg0dcRZ5w
— AIIMS, Raipur, CG (@aiims_rpr) May 21, 2020