कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने ऋचा जोगी की जाति मामले पर की टिप्पणी.. धरमलाल कौशिक के बयान पर किया पलटवार | Agriculture Minister Ravindra Choubey commented on Richa Jogi's caste case

कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने ऋचा जोगी की जाति मामले पर की टिप्पणी.. धरमलाल कौशिक के बयान पर किया पलटवार

कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने ऋचा जोगी की जाति मामले पर की टिप्पणी.. धरमलाल कौशिक के बयान पर किया पलटवार

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 07:55 PM IST, Published Date : October 6, 2020/9:06 am IST

रायपुर। कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने ऋचा जोगी की जाति प्रमाण पत्र मामले पर प्रतिक्रिया दी है। उनके मुताबिक ’30 साल एक जाति प्रमाण पत्र का मामला विभिन्न न्यायालयों में लंबित था। मैं समझता हूं उसी के रास्ते दूसरा जाति प्रमाण पत्र बनवाया गया है। इसलिए उस पर कोई टिप्पणी नहीं करना चाहता। वक्त आएगा तो न्यायालय से सारी बातों का फैसला हो जाएगा’।

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वहीं उन्होंने मरवाही उपचुनाव को लेकर भाजपा की तैयारियों पर भी बयान दिया है। कृषि मंत्री के मुताबिक BJP अभी तक A या B टीम से कौन लड़ेगा यह फैसला नहीं कर पाई है।

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उन्होंने आगे कहा कि मरवाही कांग्रेस की परंपरागत सीट है, हम मरवाही जीतेंगे। अमित जोगी के चुनाव लड़ने से रोकने के आरोप पर कहा कि लोकतंत्र में किसी को चुनाव लड़ने से कौन रोकेगा। प्रजातंत्र है.. चुनाव में किसी को रोकने की बात नहीं है, जिसकी जनता के बीच पैठ होगी वह चुनाव लड़ेगा और जीतेगा।

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कृषिमंत्री चौबे ने नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक के बयान पर भी पलटवार किया है। किसानों को न्याय योजना की तीसरी किश्त देने 1 हजार करोड़ के कर्ज की बात कही थी। कहा-पहले भी कर्ज लिया जाता था लेकिन रायपुर का फ्लाई और स्काई वॉक बनाया जाता था। उस सरकार का 40 हजार करोड़ का कर्ज अभी भी कायम है। केंद्र सरकार हमारा कितना सपोर्ट कर रही है। प्रदेश की जनता देख रही है। ना हमारा GST का हिस्सा दे रहे हैं। ना हमारा माइनिंग का शेष मिल रहा है। ना हमारा रोजगार गारंटी का पूरा हिस्सा मिल रहा है। हमको अपने किसानों की धान खरीदी करना है।

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हमको अपने गरीबों को चावल देने कार्यक्रम लगातार चलाना है। लगातार छग के कार्यक्रमों को प्रभावित करने की कोशिश की जा रही है। सीएम की मंशा है कि हमें किसी भी हालत में किसानों का धान खरीदना है। उन्हें 25 सौ रूपए समर्थन मूल्य देना है, इसलिए कर्ज लेना कोई गलत बात नहीं है
। चौबे ने नक्सल मामलों में राज्यपाल के गृहमंत्री को लिखे पत्र पर भी बयान दिया है। उन्होंने कहा है कि राज्यपाल हमारे संवैधानिक प्रमुख होते हैं। समय पर वे मंत्रियों और अधिकारियों से प्रशासनिक गतिविधियों की जानकारी लेते हैं। महामहिम नक्सल समस्या पर कोई सुझाव देना चाहती हैं।  गृह मंत्री जी को कोई पत्र लिखा है तो गृह मंत्रालय गंभीरता से इस पत्र को लेगा।  महामहिम को सारे कार्यों से अवगत कराया जाएगा।