संबलपुर (ओडिशा),13 फरवरी (भाषा) संबलपुर के बुरला स्थित ‘वीर सुरेन्द्र साई इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज एंड रिसर्च’ (वीआईएमएसएआर) के चिकित्सक कोविड-19के टीके के प्रभाव का अध्ययन करेंगे और पता लगाएंगे कि टीकाकरण के बाद इससे एंटीबॉडी बनने में कैसे मदद मिली। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
अधिकारियों ने बताया कि यह अध्ययन भुवनेश्वर के ‘रीजनल मेडिकल रिसर्च सेंटर’ (आरएमआरसी) के वैज्ञानिकों के साथ मिल कर किया जाएगा। राज्य स्वास्थ्य अनुसंधान समिति ने इस अध्ययन की मंजूरी दे दी है। यह अध्ययन 12 महीनों तक चलेगा।
अध्ययन में शामिल प्रधान जांचकर्ता डॉ संजीव मिश्रा ने बताया, ‘‘ इस अध्ययन का मकसद जिन लोगों का टीकाकरण हो चुका है उन पर ‘सीरोकन्वर्जन’ का पता लगाना है। इससे यह गणना की जाएगी कि सामूहिक रोग प्रतिरोधक क्षमता के लिए कितने लोगों को टीका लगाए जाने की जरूरत है, ताकि हम महामारी को रोकने में सफल रहें।’’
‘सीरोकन्वर्जन’ वह अवधि है जिसमें एक खास एंटीबॉडीज विकसित होती हैं और रक्त में उनका पता लगाया जा सकता है। ‘सीरोकन्वर्जन’ होने के बाद खून की जांच में एंटीबॉडी का पता लगाया जा सकता है।
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शोभना शाहिद
शाहिद
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