Makar Sankranti 2025 Subh Muhurt : बाघ पर सवार होकर आ रही संक्रांति, बनने जा रहे 4 दुर्लभ महायोग, जानें शुभ मुहूर्त और पूजा विधि

Makar Sankranti 2025 Subh Muhurt : बाघ पर सवार होकर आ रही संक्रांति, बनने जा रहे 4 दुर्लभ महायोग, जानें शुभ मुहूर्त और पूजा विधि

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  • Publish Date - January 6, 2025 / 07:42 AM IST,
    Updated On - January 6, 2025 / 07:42 AM IST

Makar Sankranti 2025 Subh Muhurt: ग्रहों के राजा माने सूर्य हर महीने अपना राशि परिवर्तन करते हैं। अभी सूर्य धनु राशि में विराजमान हैं। 14 जनवरी को सूर्य मकर राशि में गोचर करने वाले हैं, उस दिन को ही मकर संक्रांति के रूप में देश भर में त्योहार के रूप में मनाया जाता है। इस बार मकर संक्रांति 14 जनवरी को मनाया जाएगा। ज्योतिषों के मुताबिक, इस बार संक्रांति बाघ पर सवार होकर आएगी और धोबी के घर प्रवेश करेगी।इस दिन चार महायोग का भी संयोग बन रहा है। मकर संक्रांति के दिन विष्कुंभ, प्रीति, बालव और कॉलव योग का निर्माण हो रहा है, जो अति शुभ माना जाता है।मकर संक्रांति के दिन स्नान दान करने का खासा महत्व है।

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Makar Sankranti 2025 Shubh Muhurat

उदयातिथि के अनुसार, मकर संक्रांति इस बार 14 जनवरी 2025 को ही मनाई जाएगी। इस दिन सूर्य सुबह 8 बजकर 41 मिनट मकर राशि में प्रवेश करेंगे। मकर संक्रांति पर महापुण्य काल का शुभ मुहूर्त सुबह 09 बजकर 03 मिनट से सुबह 10 बजकर 48 मिनट तक रहेगा।  मकर संक्रांति के दिन स्नान का ब्रह्म मुहूर्त सुबह 05:27 से सुबह 06:21 तक रहेगा। वहीं, दान का पुण्य काल सुबह 09 बजकर 03 मिनट से शाम 05 बजकर 46 मिनट तक रहेगा।

Makar Sankranti 2025 Mahatv

पौराणिक मान्यतानुसार  मकर संक्रांति के दिन पशुओं को हरा चारा डालने, खिचड़ी, तिल से बनी खाद्य सामग्री और वस्त्र दान का विशेष महत्व है। शास्त्रों के अनुसार सूर्य 6 महीने उत्तरायन और 6 महीने दक्षिणायन रहता है। भगवान सूर्य मकर संक्रांति के दिन उत्तरायण यानी मकर से उत्तर दिशा की ओर जाते हैं। इसलिए इस पर्व को उत्तरायणी पर्व कहा जाता है।

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मकर  संक्रांति में खिचड़ी के दान का महत्व

मकर संक्रांति के दिन खिचड़ी का विशेष महत्व है। खिचड़ी में शामिल सामग्री का संबंध किसी न किसी ग्रह से होता है। खिचड़ी में प्रयोग होने वाले चावल का संबंध चंद्रमा से, उड़द की दाल का शनि देव से, हल्दी का संबंध गुरु देव से और हरी सब्जियों का संबंध बुध से और घी का संबंध सूर्य देव से है। जो व्यक्ति को बलशाली यानी ऊर्जावान बनाते हैं।

Makar Sankranti 2025 Puja Vidhi

  • सबसे पहले सुबह-सुबह ब्रह्म मुहूर्त में उठ जाएं।
  • फिर पानी में गंगाजल और मिलाकर स्नान करें।
  • इसके बाद गणेश जी का ध्यान करें।
  • फिर तांबे के लोटे में जल, लाल पुष्प, लाल रोली, गुड़, अक्षत और काला तिल मिलकर उगते हुए सूर्य को अर्घ्य दें।
  • अर्घ्य देते समय सूर्य मंत्र और गायत्री मंत्र पढ़ें। अर्घ्य देते समय जल की धारा में देखकर सूर्य देव का दर्शन करना बेहद ही शुभ माना जाता है।
  • इसके बाद सूर्य देव को धूपबत्ती या घी का दीपक दिखाएं और 3 बार परिक्रमा करें।
  • अब भोग अर्पित करने के बाद क्षमा प्रार्थना करें।

FAQ: मकर संक्रांति 2025

मकर संक्रांति 2025 कब मनाई जाएगी?

मकर संक्रांति इस बार 14 जनवरी 2025 को मनाई जाएगी, जब सूर्य धनु राशि से मकर राशि में गोचर करेंगे।

मकर संक्रांति पर स्नान और दान का क्या महत्व है?

मकर संक्रांति के दिन पवित्र नदियों में स्नान और दान का बहुत महत्व है। यह दिन पुण्य अर्जित करने और सकारात्मक ऊर्जा प्राप्त करने के लिए शुभ माना जाता है।

इस बार मकर संक्रांति पर कौन-कौन से योग बन रहे हैं?

2025 में मकर संक्रांति के दिन विष्कुंभ, प्रीति, बालव और कॉलव नामक चार महायोग बन रहे हैं, जो इसे और अधिक शुभ बनाते हैं।

मकर संक्रांति 2025 का वाहन और प्रवेश किसका है?

ज्योतिषों के अनुसार, इस बार मकर संक्रांति बाघ पर सवार होकर आएगी और धोबी के घर प्रवेश करेगी।

मकर संक्रांति पर कौन-कौन से त्योहार मनाए जाते हैं?

मकर संक्रांति के अवसर पर अलग-अलग राज्यों में जैसे लोहड़ी, पोंगल, और बिहू जैसे त्योहार मनाए जाते हैं। सभी का उद्देश्य फसल कटाई का जश्न और सूर्य देव की उपासना करना है।

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