मुंबई, 26 अक्टूबर (भाषा) प्रधान न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ ने शनिवार को यहां कहा कि भारत में वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) लागू करना ‘‘सहकारी संघवाद का एक उत्कृष्ट उदाहरण’’ है।
वह मराठी दैनिक ‘लोकसत्ता’ द्वारा आयोजित वार्षिक व्याख्यान श्रृंखला के उद्घाटन सत्र में ‘संघवाद और इसकी क्षमता को समझना’ विषय पर अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। उन्होंने कहा कि पिछले कुछ दशकों में अदालतों ने राज्यों के अधिकारों की रक्षा सुनिश्चित करने के लिए संघवाद पर एक मजबूत ढांचा विकसित किया है।
न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ ने कहा कि भारतीयों के लिए संघवाद कोई ‘‘एकांगी परिकल्पना’’ नहीं है, बल्कि इसके कई पहलू हैं।
उन्होंने कहा कि सहकारी संघवाद शासन की एक प्रणाली है जहां केंद्र और राज्य ‘‘विकास के सामान्य लक्ष्य को प्राप्त करने के वास्ते मतभेदों को दूर करने’’ के लिए मिलकर काम करते हैं।
प्रधान न्यायाधीश ने कहा कि 1990 के बाद जब भारतीय अर्थव्यवस्था में बाजार सुधार हुए तो अर्थव्यवस्था राजनीतिक चर्चा के केंद्र में आ गई।
न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ ने कहा, ‘‘जीएसटी को प्रतिबिंबित करने और मूर्त रूप देने के लिए संविधान में संशोधन, मेरे विचार से सहयोगात्मक, सहकारी संघवाद का एक उत्कृष्ट उदाहरण है।’’
उन्होंने कहा कि अदालतों ने भारतीय संघवाद के सिद्धांतों को विकसित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
भाषा नेत्रपाल माधव
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