मुंबई, आठ नवंबर (भाषा) चुनावी राज्य महाराष्ट्र में मतदान के दौरान शहरी मतदाताओं की ज्यादा से ज्यादा भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए निर्वाचन आयोग ने शुक्रवार को प्रदेश के अधिकारियों को इस संबंध में काम करने के लिए कहा।
राज्य के मुख्य निर्वाचन कार्यालय के सूत्रों ने बताया कि निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार और सुखबीर सिंह संधू के साथ दिल्ली से वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए समीक्षा बैठक को संबोधित करते हुए, मुख्य निर्वाचन आयुक्त (सीईसी) राजीव कुमार ने कहा कि जब छत्तीसगढ़ के बस्तर और महाराष्ट्र के गढ़चिरौली जैसे वामपंथी उग्रवाद (एलडब्ल्यूई) प्रभावित क्षेत्रों में हाल के चुनावों में मतदाता बड़ी संख्या में अपने मताधिकार का इस्तेमाल कर सकते हैं तो आगामी महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों में कोलाबा और कल्याण क्यों नहीं कर सकते।
यहां आयोजित समीक्षा बैठक में पुलिस और प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया। पिछले विधानसभा चुनाव में कोलाबा में केवल 40 प्रतिशत मतदान हुआ था।
हाल ही में जम्मू और कश्मीर विधानसभा चुनावों में, डोडा, रियासी, पुंछ और राजौरी जैसे निर्वाचन क्षेत्रों में 70 प्रतिशत से अधिक मतदान हुआ। सबसे संवेदनशील क्षेत्रों में भी मतदान केंद्र बनाए गए। किश्तवाड़ जिले के गोरो में 100 प्रतिशत मतदान हुआ।
कुमार के हवाले से सूत्रों ने बताया, ‘‘पुणे, ठाणे और मुंबई के शहरी निर्वाचन क्षेत्रों में मतदान क्यों नहीं बढ़ाया जा सकता?’’
उन्होंने बताया कि मणिपुर जैसे संवेदनशील क्षेत्रों में इस साल लोकसभा चुनाव में 78 प्रतिशत मतदान हुआ, जबकि मुंबई दक्षिण के पॉश निर्वाचन क्षेत्रों में से एक में लगभग आधे पात्र मतदाताओं ने अपने मताधिकार का इस्तेमाल नहीं किया।
मुख्य निर्वाचन आयुक्त ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि किसी भी शिकायत के समाधान के वास्ते वे सभी हितधारकों के लिए उपलब्ध रहें। उन्होंने यह भी कहा कि सभी दलों और उम्मीदवारों के लिए समान अवसर बनाए रखें अन्यथा कार्रवाई के लिए तैयार रहें।
उन्होंने कहा कि अधिकारियों को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि उम्मीदवार या उनके एजेंट निर्वाचन आयोग के दिशा-निर्देशों के अनुसार चुनावी प्रक्रिया के सभी चरणों में शामिल हों।
कुमार ने कहा कि मतदाताओं को नकदी, शराब, मादक पदार्थ या उपहार जैसे प्रलोभनों की पेशकश करने वालों को कार्रवाई के माध्यम से रोका जाना चाहिए।
सभी जिला निर्वाचन अधिकारियों और चुनाव अधिकारियों को निर्देश दिया गया कि वे सभी मतदान केंद्रों पर बेहतर सुविधायें उपलब्ध करा मतदाताओं के लिए आरामदायक मतदान अनुभव सुनिश्चित करें। घनी आबादी वाले क्षेत्रों में स्थित मतदान केंद्रों पर बेंच उपलब्ध कराई जाएंगी।
भाषा
खारी रंजन
रंजन
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