भोपाल। Madhya Pradesh Foundation Day : 1 नवंबर को मध्य प्रदेश 69वां स्थापना दिवस मनाया जाएगा। हालांकि इसकी शुरुआत हो चुकी है, हर बार की तरह इस साल भी इस कार्यक्रम को लेकर सरकार कोई कसर नहीं छोड़ना चाहती है, प्रदेश भर में इसका जमकर उत्साह देखा जाता है। लेकिन हर किसी के मन में ये सवाल जरूर रहता है कि आखिर मध्यप्रदेश का गठन कैसे हुआ होगा? बता दें कि देश के आजाद होने के कुछ समय बाद और उससे पहले मध्य प्रदेश को सेंट्रल प्रोविंस यानी मध्य प्रांत और बरार यानी सीपी एंड बरार के नाम से जाना जाता था। आजाद भारत में रियासतों को मिलाकर एकीकृत किया गया। इसके बाद 1 नवंबर 1956 से अपना प्रदेश मध्य प्रदेश कहलाने लगा।
देश के मध्य भाग में मध्य प्रदेश स्थित है इसलिये इसे भारत का हृदय प्रदेश भी कहा जाता है। मध्य प्रदेश का जन्म देश को आजादी मिलने के बाद हुआ। 1947 में जब भारत स्वतंत्र हुआ, तो मध्य भारत और विंध्य प्रदेश के नए राज्यों को पुरानी सेंट्रल इंडिया एजेंसी से अलग कर दिया गया। तीन साल बाद 1950 में मध्य प्रांत और बरार का नाम बदलकर मध्य प्रदेश कर दिया गया।
मध्य प्रदेश की सीमाएं पांच राज्यों की सीमाओं से मिलती हैं। मध्य प्रदेश के उत्तर में उत्तर प्रदेश, पूर्व में छत्तीसगढ़, दक्षिण में महाराष्ट्र और पश्चिम में गुजरात तथा उत्तर-पश्चिम में राजस्थान राज्य है। भू वैज्ञानिक दृष्टि से मध्य प्रदेश सर्वाधिक प्राचीनतम गोंडवानालैंड भू संहति का भू भाग है। इसकी सरंचना आद्य, महाकल्प शैल समूह के आसपास हुई मानी जाती है।
12 शिव ज्योर्तिलिंग में से 2 (ओंकारेश्वर एवं महाकालेश्वर) मध्य प्रदेश में हैं | जानकारी के अनुसार भागवत पुराण के अनुसार मध्य प्रदेश के उज्जैन शहर के सांदीपनि आश्रम में भगवान कृष्ण, उनके भाई बलराम और उनके मित्र सुदामा ने अपनी शिक्षा पूरी की थी। उज्जैन में हर 12 साल में शिप्रा नदी के किनारे कुम्भ मेला लगता है।
मध्य प्रदेश में स्थित भीमबेटका गुफाये पाषाण काल की है जिससे यह अनुमान लगाया जाता है कि मध्यप्रदेश 30 हजार ईसा पूर्व अस्तित्व में था। ये गुफाएं भारत में एक विश्व धरोहर स्थल भी हैं। भीमबैटका, पचमढ़ी, खजुरोहा, सांची के स्तूप, ग्वालियर का किला, मांडू, बाघ की गुफाएं, उज्जैन महाकालेश्वर और ओंकारेश्वर मध्य प्रदेश के प्रमुख पर्यटन स्थल हैं। भीमबैटका में 600 गुफाओं का संग्रह है और इसे भारत के सबसे पुराने गुफा संग्रहों में से एक माना जाता है। यह अपनी अद्भुत राक नक्काशियों और चित्रों के लिए पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र है।
मालूम हो कि स्वाधीनता संग्राम के इतिहास में भी मध्य प्रदेश के योगदान की जानकारी मिलती है। भारत के दो महान गायक संगीत सम्राट तानसेन और बैजू बावरा का जन्म ग्वालियर के पास हुआ था। मध्य प्रदेश भारत के कई दिग्गजों का जन्मस्थान रहा है, जैसे अमर शहीद चंद्रशेखर आज़ाद, पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी, स्वर कोकिला लता मंगेशकर, किशोर कुमार, जया बच्चन, मंसूर अली खान पटौदी, आदि कई अन्य महान व्यक्तियों का जन्म इस राज्य में हुआ है।
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