ग्वालियर: Sachin Birla’s legislature खंडवा लोकसभा उपचुनाव के समय कांग्रेस पार्टी से बगावत कर बीजेपी का दामन थामने वाले बड़वाह से विधायक सचिन बिड़ला की विधायकी बरकरार रहेगी। कांग्रेस विधायक रवि जोशी ने सचिन बिरला की सदस्यता ख़त्म करने को लेकर जो आवेदन दिया था, उसे विधानसभा अध्यक्ष ने ख़ारिज कर दिया है। यानि सचिन बिड़ला विधायक बने रहेंगे। वहीं कांग्रेस अब अदालत का दरवाजा खटखटाने की तैयारी कर रही है।
Sachin Birla’s legislature खंडवा लोकसभा उपचुनाव के दौरान बीजेपी खेमे में आने वाले कांग्रेस विधायक सचिन बिड़ला की विधायकी पर खतरा फिलहाल टल गया है। कांग्रेस विधायक रवि जोशी की याचिका को विधानसभा अध्यक्ष गिरीश गौतम ने खारिज कर दिया है। इसके बाद कांग्रेस हमलावर हो गई है। कांग्रेस ने बीजेपी पर उपचुनाव से डरने का आरोप लगाते हुए कहा है कि इस मामले में वो कोर्ट का दरवाजा खटखटाएगी। कांग्रेस का साफ आरोप है कि सचिन बिड़ला खंडवा उपचुनाव के दौरान बीजेपी का प्रचार कर रहे थे इसलिए उन्हें खुद ही इस्तीफा दे देना चाहिए।
दरअसल, कांग्रेस ने दल बदल कानून के तहत सचिन बिड़ला की विधानसभा सदस्यता को खत्म करने की मांग करते हुए पहले विधानसभा को आवेदन दिया था। लेकिन सबूत नाकाफी थे लिहाजा स्पीकर गिरीश गौतम ने आवेदन को खारिज कर दिया था। इसके बाद कांग्रेस विधायक रवि जोशी ने एक बार फिर आवेदन दिया, जिस पर 30 मार्च को स्पीकर ने सुनवाई की थी। इस दौरान कांग्रेस ने बिड़ला के खिलाफ कई सबूत भी पेश किए थे। स्पीकर ने सुनवाई के बाद फैसला सुरक्षित रख लिया था। 5 अप्रैल को विधानसभा अध्यक्ष गिरीश गौतम ने याचिका ही खारिज कर दी। इस मामले में संसदीय कार्यमंत्री नरोत्तम मिश्रा का कहना है कि ये फैसला विधानसभा अध्यक्ष का है। याचिका नियमों के तहत ही खारिज हुई है।
दरअसल, कांग्रेस नहीं चाहती कि विधानसभा में सचिन बिड़ला कांग्रेसी खेमे में बैठें। इसलिए विधासभा अध्यक्ष की ओर से याचिका खारिज होने के बाद वो कोर्ट का दरवाजा खटखटाने की तैयारी कर रही है।