इंदौर (मध्यप्रदेश), 20 नवंबर (भाषा) इंदौर के भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) ने इलेक्ट्रोकार्डियोग्राम (ईसीजी) मशीनों और हृदय रोगों के इलाज में इस्तेमाल किए जाने वाले ‘पेसमेकर’ सरीखे उपकरण की सुरक्षा बढ़ाने के लिए खास तकनीक विकसित की है। आईआईटी इंदौर के एक अधिकारी ने बुधवार को यह जानकारी दी।
अधिकारी ने बताया कि आईआईटी इंदौर के प्रोफेसर अनिर्बन सेनगुप्ता के नेतृत्व में विकसित इस तकनीक को देश के पेटेंट कार्यालय से पेटेंट प्रदान किया गया है।
अधिकारी के मुताबिक, आईआईटी इंदौर के दल ने इस नयी तकनीक को ईसीजी मशीनों और पेसमेकर के लिए सुरक्षित चिप बनाने के लिए डिजाइन किया है।
उन्होंने बताया कि इस तकनीक के जरिये ईसीजी मशीनों और पेसमेकर में लगने वाली असली और नकली चिप के बीच का अंतर पता चलता है, नतीजतन इन उपकरणों की सुरक्षा और विश्वसनीयता सुनिश्चित होती है और सटीक परिणामों से मरीजों का बेहतर इलाज किया जा सकता है।
प्रोफेसर सेनगुप्ता ने कहा, ‘यह तकनीक ईसीजी मशीनों और पेसमेकर में इस्तेमाल की जाने वाली चिप को न केवल सुरक्षित करती है, बल्कि यह गारंटी भी देती है कि इन उपकरणों में असली चिप लगी है।’’
भाषा हर्ष
मनीषा
मनीषा
(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
MP News in Hindi: पहली बार ऐसा संयोग, DGP पिता…
28 mins ago