Heart blockage: नई दिल्ली। एक स्वस्थ्य मनुष्य का हृदय एक मिनट में लगभग 60 से 100 बार धड़कता है। लेकिन अक्सर लोगो के खान-पान के कारण और खराब लाइफस्टाइल की वजह से हृदय सम्बंधित समस्या हो जाती है। ऐसे में, हार्ट ब्लॉक की समस्या भी हो सकती है। हार्ट ब्लॉकेज को एट्रियोवेंट्रिकुलर ब्लॉक AV कहा जाता है। यह समस्या हृदय सम्बंधित होने वाली खराबी के कारण होती है। यह स्थिति व्यक्ति के शरीर में ब्लड सर्कुलेशन पर भी प्रभाव डालती है। जिसके लक्षणों में सीने में दर्द, सांस लेने में तकलीफ होना शामिल है।>>*IBC24 News Channel के WhatsApp ग्रुप से जुड़ने के लिए यहां Click करें*<<
Heart blockage: हार्ट ब्लॉकेज के कारण
1. जन्म से हार्ट ब्लॉकेज की समस्या होना
2. दवाओं का साइड इफेक्ट से हार्ट में ब्लॉकेज होजाना
3. ह्रदय से संबंधित रोग के कारण
4. हार्ट सर्जरी के बाद भी हार्ट में ब्लॉकेज की समस्या हो सकती है
5. बोरेलिया बर्गडॉर्फेरी द्वारा होने वाली लाइम डिजीज जैसे संक्रमण के कारण भी हार्ट ब्लॉकेज हो सकती।
Heart blockage: हार्ट ब्लॉकेज के बचाव के लिए उपाय
1. ब्लड प्रेशर को नियंत्रण में रखने से हृदय सम्बंधित समस्याओं को दूर किया जा सकता है।
2. कोलेस्ट्रॉल नियंत्रण में रखने से हृदय स्वास्थ्य पर भी सकारात्मक प्रभाव पड़ता है।
3. पौष्टिक आहार का सेवन करें और प्रतिदिन एक्सरसाइज या योग जरूर करें।
4. धूम्रपान, शराब जैसी नशीली चीज़ों का सेवन बिल्कुल ना करें।
5. ब्लड शुगर के स्तर को नियंत्रण में रखें।
Heart blockage: हार्ट ब्लॉकेज के लिए इलाज
1. पेसमेकर – पेसमेकर एक प्रकार की मशीन होती है जिसे छाती में त्वचा के अंदर लगाया जाता है। यह रोगी के हृदय की धड़कन को नियमित कर बनाये रखने में मदद करता है।
2. दवाओं का सहारा लें – डॉक्टर्स ऐसे में दवाओं और ट्रीटमेंट का सुझाव देते हैं। हार्ट ब्लॉकेज की समस्या को दूर करने में दवाइयां सहायक हो सकती है। बिना डॉक्टर के सुझाव के कोई भी दवा ना लें।