नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश के उन्नाव में दरिंदगी की शिकार रेप पीड़िता की शुक्रवार देर रात दिल्ली के अस्पताल में मौत हो गई। करीब 40 घंटे तक जिंदगी की जंग लड़ने के बाद रात 11.40 बजे सफदरजंग अस्पताल में पीड़िता की सांसें थम गईं। युवती को गुरुवार शाम एयरलिफ्ट करके लखनऊ के श्यामा प्रसाद मुखर्जी (सिविल) अस्पताल से दिल्ली लाया गया था। दिल्ली एयरपोर्ट से सफदरजंग अस्पताल तक ऐम्बुलेंस के लिए ग्रीन कॉरिडोर बनाया गया था। डॉक्टरों ने बताया था कि पीड़िता का शरीर 90 पर्सेंट तक जल चुका है।
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बता दें कि उन्नाव के बिहार थाना इलाके में 20 साल की रेप पीड़िता को गुरुवार तड़के पांच लोगों ने जिंदा जला दिया था। घटना में शामिल सभी पांचों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है। पीड़िता ने थाने में शिकायत कर बताया था कि शिवम त्रिवेदी नाम के शख्स ने उसे प्रेमजाल में फंसाया और फिर रायबरेली ले जाकर रेप किया। पीड़िता ने आरोप लगाया था कि त्रिवेदी ने मोबाइल में उसका विडियो बना लिया था। विडियो वायरल करने की धमकी देकर वह लगातार रेप करता रहा।
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युवती ने कहा कि शिवम ने कई शहरों में ले जाकर उसके साथ रेप किया। पीड़िता ने शादी के लिए दबाव बनाया लेकिन शिवम नहीं माना। युवती को जलाने वाले एक अन्य आरोपी ने भी उससे रेप किया था जो कुछ दिन पहले ही जमानत पर बाहर आया था। पीड़िता रायबरेली में अपनी बुआ के यहां रहती थी।
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पीड़िता ने बताया था कि गुरुवार सुबह 4 बजे वह ट्रेन पकड़ने के लिए बैसवारा बिहार रेलवे स्टेशन जा रही थी। इस बीच, मौरा मोड़ पर गांव के हरिशंकर त्रिवेदी, किशोर, शुभम, शिवम और उमेश ने उसे घेर लिया और डंडे, चाकू से वार किया। इस बीच जब वह चक्कर खाकर जमीन पर गिर गई तो आरोपियों ने पेट्रोल डालकर उसे आग के हवाले कर दिया।
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उन्नाव रेप पीड़िता को जलाए जाने के मामले की जांच एसआईटी कर रही है। लखनऊ के मंडलायुक्त मुकेश मेश्राम ने बताया है कि इस एसआईटी का नेतृत्व एएसपी स्तर के एक अधिकारी करेंगे। बता दें कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पीड़िता का इलाज सरकारी खर्चे पर कराने का ऐलान किया था। गुरुवार सुबह करीब 10 बजे उसे नाजुक हालत में लखनऊ के अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
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