हैदराबाद, 26 जनवरी (भाषा) तेलंगाना के मुख्यमंत्री ए रेवंत रेड्डी ने रविवार को कहा कि वह विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के मसौदा दिशानिर्देशों को ‘‘संविधान पर हमला’’ मानते हैं और उन्होंने केंद्र से इसे वापस लेने की मांग की।
रेड्डी ने कहा कि वह इस मुद्दे पर अन्य दक्षिणी राज्यों के मुख्यमंत्रियों से बात कर रहे हैं, साथ ही सामूहिक लड़ाई लड़ने का संकल्प लिया।
रेड्डी ने यहां बी आर आंबेडकर मुक्त विश्वविद्यालय में आंबेडकर की प्रतिमा का अनावरण करने के बाद कहा कि पद्म पुरस्कारों के चयन में राज्य सरकार की सिफारिशों को केंद्र द्वारा कथित रूप से नजरअंदाज किया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार तेलंगाना के विश्वविद्यालयों के कुलपतियों की नियुक्ति दिल्ली से करने का प्रस्ताव कर रही है, लेकिन दिल्ली में बैठे लोग राज्य की वास्तविकताओं से कैसे अवगत होंगे।
उन्होंने कहा कि राज्य के विश्वविद्यालयों पर नियंत्रण करने की कोशिश के पीछे एक ‘‘बड़ा सांस्कृतिक हमला और साजिश’’ है।
रेड्डी ने कहा कि उन्होंने तमिलनाडु, कर्नाटक और केरल के मुख्यमंत्रियों के साथ ‘‘समन्वय’’ किया है और जल्द ही आंध्र प्रदेश के अपने समकक्ष एन चंद्रबाबू नायडू से भी बात करना चाहेंगे।
उन्होंने कहा, ‘‘गणतंत्र दिवस के अवसर पर, मैं प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से आग्रह करता हूं। हमें आपके हमले और यूजीसी नियमों के मसौदे को संविधान पर हमले के रूप में देखना होगा। आप हम पर आक्रमण करने की सोच रहे हैं… हम सामूहिक रूप से लड़ेंगे।’’
उन्होंने आरोप लगाया कि यूजीसी के मसौदा दिशानिर्देश राज्यों को नियंत्रित करने का एक प्रयास है। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय कर्मचारियों और अन्य लोगों को इस मुद्दे पर विरोध प्रदर्शन के लिए तैयार रहना चाहिए।
केंद्र द्वारा घोषित पद्म पुरस्कारों पर रेवंत रेड्डी ने कहा कि राज्य सरकार को बुरा लगा कि उसके द्वारा सिफारिश किये गए नामों–लोक गायक और गाथागीतकार गदर, शिक्षाविद् चुक्का रमैया, कवि अन्दे श्री, कवि और गायक गोरती वेंकन्ना और कवि और इतिहासकार जयधीर तिरुमला–पर केन्द्र ने विचार नहीं किया।
उन्होंने कहा कि हालांकि, वह एम कृष्ण मडिगा को पद्म पुरस्कार दिए जाने की सराहना करते हैं, लेकिन राज्य द्वारा प्रस्तावित नामों पर केंद्र का विचार न करना प्रदेश के लोगों को ठेस पहुंचाने के समान है।
उन्होंने कहा कि वह जल्द ही प्रधानमंत्री मोदी को पत्र लिखकर राज्य की नाराजगी से अवगत कराएंगे।
उन्होंने कहा कि पड़ोसी राज्य आंध्र प्रदेश को पांच पद्म पुरस्कार मिले हैं और तेलंगाना को कम से कम चार मिलने चाहिए थे।
भाषा सुभाष रंजन
रंजन
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(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)