नयी दिल्ली, 16 दिसंबर (भाषा)उच्चतम न्यायालय ने मथुरा और झांसी के बीच रेलवे लाइन के निर्माण के लिए पेड़ों की कटाई पर लगी रोक सोमवार को हटा ली।
शीर्ष अदालत ने यह रोक रेल विकास निगम लिमिटेड द्वारा काटे जाने वाले पेड़ों की क्षतिपूर्ति के तौर पर 50,943 नए पौधे लगाए जाने के कार्य को पूरा करने के बाद हटाई है।
न्यायमूर्ति अभय एस ओका और न्यायमूर्ति मनमोहन की पीठ को केंद्रीय अधिकार प्राप्त समिति (सीईसी)ने सूचित किया कि रेलवे निकाय को 13 मई, 2022 को 50,943 पौधे लगाने की शर्त पर 5,094 पेड़ों की कटाई करने की अनुमति दी गई थी।
पीठ ने कहा, ‘‘हमने रेल विकास निगम लिमिटेड द्वारा 13 मई, 2022 के आदेश के अनुपालन से संबंधित रिपोर्ट का अवलोकन किया है। यह परियोजना मथुरा और झांसी के बीच तीसरी रेलवे लाइन के संबंध में है। सीईसी की रिपोर्ट से संकेत मिलता है कि 50,943 पेड़ लगाने का अनुपालन किया गया है। हम परियोजना पर 14 अक्टूबर के स्थगन आदेश को निष्प्रभावी करते हैं।’’
शीर्ष अदालत ने 14 अक्टूबर को पाया कि काटे जाने वाले पेड़ों के स्थान पर पौधे लगाने की शर्त को पूरा नहीं किया गया है जिसके बाद उसने निर्माण कार्य पर रोक लगाने का आदेश दिया था।
भाषा धीरज नरेश
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