Social media banned in government offices: देहरादून: सरकारी दफ्तरों में संभवतः अब काम करने का पैटर्न बदल जाएगा! आम लोगों के जरूरी कामकाज पर दिलचस्पी नहीं दिखाने वाले सरकारी बाबू भी अब लोगों का काम झटपट कर देंगे! किसी सरकारी कामकाज में देर नहीं होगी और सभी अनुशासित तरीके से व्यवहार भी करेंगे! तो सवाल उठ रहे कि इसकी वजह क्या है? क्या सरकारी कामकाज और सरकारी कर्मियों में कसावट लाने के मकसद से किसी तरह का कोई बड़ा फैसला लिया गया है या फिर कुछ और कारण है? तो चलिए हम आपको बताते है इसके पीछे की वजह।
Social media banned in government offices दरअसल उत्तराखंड राज्य की धामी सरकार ने बड़ा फैसला लेते हुए ऐलान किया हैं कि अब सरकारी दफ्तरों में सोशल मीडिया एप्प मसलन इंस्टाग्राम, फेसबुक, व्हाट्सप्प और टेलीग्राम सरीखे सोशल मीडिया एप्प का इस्तेमाल नहीं कर पाएंगे। सरकार ने इनके इस्तेमाल पर तत्काल प्रभाव से निर्णय लेते हुये सरकारी दफ्तरों में प्रतिबंधित कर दिया है। संभव हैं कि इसका अनुपालन नहीं किये जाने पर कर्मचारियों को कार्रवाई का भी सामना करना पड़े।
Social media banned in government offices बता दें कि सरकार ने यह सख्त कदम साइबर हमले के बाद एहतियात के तौर पर उठाया है। इसी महीने की शुरुआत यानी 2 अक्टूबर को आईटीडीए यानी इन्फॉर्मेशन टेक्नोलॉजी डेवलपमेंट एजेंसी के डाटा सेंटर पर साइबर अटैक का मामला सामने आया था। सरकार ने इसकी शुरुआती जाँच भी की थी लेकिन हैकर्स का पता नहीं लगाया जा सका था। बाद में दावा किया गया कि यह ‘रैनसमवेयर अटैक’ था। बहरहाल अब राज्य के आईटी सेक्रेटरी नितेश झा ने कहा हैं कि, साइबर सुरक्षा को सुदृढ़ करने की दिशा में कदम उठाते हुए, भविष्य में ‘जीरो ट्रस्ट पॉलिसी’ अपनाई जाएगी। इसके लिए सभी सिस्टम का सिक्योरिटी ऑडिट भी कराया जा रहा हैं जिसका काम एनआईसीएसआई को सौंपा गया हैं। ऐसे में अब देखना दिलचस्प होगा कि सोशल मीडिया पर प्रतिबंधों से राज्य सरकार किसी भी तरह के साइबर अतियक को टालने में किस हद तक कामयाब हो पाती है।
इसी तरह उत्तराखंड के पुलिस महानिदेशक अभिनव कुमार ने साइबर अपराधों की चुनौतियों से निपटने और अपने राज्य के साइबर अपराध तंत्र को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल की है। पांच राज्यों (महाराष्ट्र, कर्नाटक, तेलंगाना, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश) के पुलिस महानिदेशकों को पत्र लिखकर साइबर अपराधों पर प्रभावी नियंत्रण के लिए उनके राज्यों में उठाए जा रहे कदमों की विस्तृत जानकारी मांगी है। यह कदम उत्तराखंड में साइबर अपराधों की रोकथाम और प्रबंधन को बेहतर बनाने के प्रयासों का हिस्सा है।
Social media banned in government offices पुलिस महानिदेशक अभिनव कुमार ने कहा कि उत्तराखंड राज्य में साइबर अपराधों को रोकने और उन पर प्रभावी नियंत्रण के लिए आवश्यक कदम उठाने के लिए यह पहल की गई है। उन्होंने कहा कि अन्य राज्यों से प्राप्त सूचनाओं के आधार पर उत्तराखंड पुलिस साइबर अपराध से निपटने के लिए अपनी कार्यप्रणाली में आवश्यक सुधार और बदलाव करेगी। डीजीपी ने कहा कि राज्यों के बीच साइबर अपराधों की चुनौती से निपटने की दिशा में यह आपसी सहयोग एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगा और इस क्षेत्र में उभर रहे नए खतरों को और अधिक प्रभावी ढंग से नियंत्रित किया जा सकेगा।
Uttarakhand Director General of Police Abhinav Kumar has taken an important initiative towards dealing with the challenges of cyber crimes and strengthening the cyber crime mechanism of his state and has written a letter to the Director Generals of Police of five states… pic.twitter.com/FvrS6Zhzec
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) October 9, 2024
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