अगरतला, 31 दिसंबर (भाषा) मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के वरिष्ठ नेता और त्रिपुरा के पूर्व मुख्यमंत्री माणिक सरकार ने मंगलवार को आरोप लगाया कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार एक साथ चुनाव कराने संबंधी विधेयक लाकर देश में फासीवादी शासन स्थापित करने की कोशिश कर रही है।
लोकसभा में इस महीने की शुरुआत में ‘एक देश, एक चुनाव’ संबंधी दो विधेयक पेश किए गए थे, जिनमें से एक के लिए संविधान में संशोधन की आवश्यकता है और इस संशोधन के जरिये एक साथ चुनाव कराने की व्यवस्था की जा सकती है।
माकपा नेता सरकार ने कहा, “यह कदम एक देश, एक नेता, एक भाषा और एक संस्कृति के रूप में फासीवादी शासन स्थापित करने के प्रयास के अलावा और कुछ नहीं है। यह लोगों का ध्यान महंगाई, बेरोजगारी और कृषि क्षेत्र में संकट जैसे वास्तविक मुद्दों से भटकाने के लिए है।”
उन्होंने कांग्रेस पर कटाक्ष करते हुए कहा कि देश में 1967 तक एक साथ चुनाव होते रहे और इस प्रथा को ‘कांग्रेस के नेतृत्व वाली सरकार ने अपने हितों के लिए तोड़ दिया’।
सरकार ने दावा किया, “केंद्र सरकार ने एक साथ चुनाव कराने के लिए दो विधेयक पेश किए, जबकि उसे पता था कि वे संसद में पारित नहीं होंगे।”
सरकार ने बीआर आंबेडकर पर हाल ही में की गई टिप्पणी के लिए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की भी आलोचना की।
उन्होंने कहा, “जनसंघ (भाजपा का पूर्ववर्ती) शुरू से ही संविधान का विरोध करता रहा है। स्वाभाविक रूप से, वे आंबेडकर को पसंद नहीं करते, जिन्होंने संविधान लिखा था।”
भाषा जितेंद्र अविनाश
अविनाश
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