Shikshak Bharti Nirast: 15 दिन के भीतर बेरोजगार हो जाएंगे 24000 से अधिक शिक्षक, नौकरी से निकालने का आदेश, वापस करना होगा 60 दिन का वेतन

Shikshak Bharti Nirast: 15 दिन के भीतर बेरोजगार हो जाएंगे 24000 से अधिक शिक्षक, नौकरी से निकालने का आदेश, वापस करना होगा 60 दिन का वेतन

  •  
  • Publish Date - April 22, 2024 / 12:53 PM IST,
    Updated On - April 22, 2024 / 12:57 PM IST

कोलकाता:  Shikshak Bharti Nirast कलकत्ता उच्च न्यायालय ने पश्चिम बंगाल सरकार द्वारा सहायता प्राप्त विद्यालयों में राज्य स्तरीय चयन परीक्षा-2016 (एसएलएसटी) की चयन प्रक्रिया सोमवार को अमान्य घोषित कर दी और इसके जरिए हुई सभी नियुक्तियों को रद्द करने का आदेश दिया। न्यायमूर्ति देबांग्शु बसाक और न्यायमूर्ति मोहम्मद शब्बार राशिदी की खंडपीठ ने केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) को नियुक्ति प्रक्रिया के संबंध में और जांच करने तथा तीन महीनों में एक रिपोर्ट सौंपने का निर्देश दिया। पीठ ने पश्चिम बंगाल विद्यालय सेवा आयोग को नयी नियुक्ति प्रक्रिया शुरू करने का निर्देश भी दिया। उल्लेखनीय है कि 24,640 रिक्त पदों के लिए 23 लाख से अधिक अभ्यथिर्यों ने 2016 एसएलएसटी परीक्षा दी थी।

Read More: Morena News: जिले में SST टीम की बड़ी कार्रवाई, चुनाव में बांटने ले जा रहे चांदी के आभूषण और पीतल की मूर्तियां किए जब्त

Shikshak Bharti Nirast बता दें कि भर्ती घोटाले में पूर्व शिक्षा मंत्री पार्थ चटर्जी और कई तृणमूल पदाधिकारियों के साथ ही राज्य शिक्षा विभाग के कई अधिकारी सलाखों के पीछे पहुंच चुके हैं। कोलकाता हाईकोर्ट के आदेश के बाद ईडी और सीबीआई दोनों कथित अनियमितताओं की जांच कर रही हैं। यह घोटाला 2014 का है। तब पश्चिम बंगाल स्कूल सर्विस कमिशन (SSC) ने पश्चिम बंगाल में सरकारी स्कूलों में शिक्षकों की भर्ती निकाली थी। यह भर्ती प्रक्रिया 2016 में शुरू हुई थी, उस वक्त पार्थ चटर्जी शिक्षा मंत्री थे। इस मामले में गड़बड़ी की कई शिकायतें कोलकाता हाईकोर्ट में दाखिल हुई थीं।

Read More: Today News Live Update 22nd April : कांकेर में सभा को संबोधित कर रहे गृहमंत्री अमित शाह, यहां देखें लाइव

याचिकाकर्ताओं का आरोप था कि जिन उम्मीदवारों के नंबर कम थे उन्हें मेरिट लिस्ट में ऊपर स्थान मिला है। इतना ही नहीं कुछ शिकायतें ऐसी भी थीं, जिनमें कहा गया था कि कुछ उम्मीदवारों का मेरिट लिस्ट में नाम न होने पर भी उन्हें नौकरी दे दी गई। याचिकाकर्ताओं ने दावा किया कि कुछ ऐसे भी उम्मीदवारों को नौकरी दी गई, जिन्होंने टीईटी परीक्षा भी पास नहीं की थी। जबकि राज्य में शिक्षक भर्ती के लिए टीईटी की परीक्षा पास होना अनिवार्य है। इसी तरह से राज्य में 2016 में एसएससी द्वारा ग्रुप डी की 13000 भर्ती के मामले में शिकायतें मिली थीं।

Read More: Bareilly Crime News : नशे में धुत्त पिता-पुत्र ने कारोबारी के बेटे को फेंका छत से नीचे, घटना का वीडियो आया सामने 

हाईकोर्ट ने इन सभी याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए सीबीआई जांच के आदेश दिए थे। इसके बाद ईडी ने शिक्षक भर्ती और कर्मचारियों की भर्ती के मालमे में मनी ट्रेल की जांच शुरू की थी। सीबीआई ने इस मामले में 18 मई को पार्थ चटर्जी से पूछताछ भी की थी।

Read More: Palampur Bus Stand Incident : ‘प्रदेश में महिलाओं के खिलाफ हिंसा की कोई जगह नहीं’, पालमपुर बस स्टैंड में युवती पर हुए हमले के बाद भड़की कंगना रनौत

 

 

देश दुनिया की बड़ी खबरों के लिए यहां करें क्लिक

Follow the IBC24 News channel on WhatsApp

खबरों के तुरंत अपडेट के लिए IBC24 के Facebook पेज को करें फॉलो