Religion-based reservation violative of Constitution

धर्म आधारित आरक्षण आंबेडकर द्वारा लिखित संविधान के खिलाफ, RSS सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले का बयान

उन्होंने यह भी कहा कि पूर्व में अविभाजित आंध्र प्रदेश और महाराष्ट्र की ओर से किए गए मुसलमानों के लिए धर्म-आधारित आरक्षण लागू करने के प्रयासों को उच्च न्यायालयों और उच्चतम न्यायालय ने खारिज कर दिया था।

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Modified Date: March 23, 2025 / 04:21 PM IST
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Published Date: March 23, 2025 2:34 pm IST
HIGHLIGHTS
  • संविधान धर्म आधारित कोटा की इजाजत नहीं देता: RSS
  • अदालतों ने ऐसे आरक्षण के प्रावधानों को खारिज किया

बेंगलुरु: RSS against Religion-based reservation , सरकारी ठेकों में मुसलमानों को चार प्रतिशत आरक्षण देने के कर्नाटक सरकार के फैसले पर जारी बहस के बीच राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले ने रविवार को कहा कि संविधान धर्म आधारित कोटा की इजाजत नहीं देता। उन्होंने कहा कि इस तरह का आरक्षण बी आर आंबेडकर द्वारा लिखित संविधान के खिलाफ है।

आरएसएस की निर्णय लेने वाली सर्वोच्च संस्था ‘अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा’ की तीन दिवसीय बैठक के समापन के अवसर पर यहां संवाददाताओं को संबोधित करते हुए होसबाले ने कहा, ‘‘बाबा साहेब आंबेडकर द्वारा लिखित संविधान में धर्म आधारित आरक्षण को स्वीकार नहीं किया गया है। ऐसा करने वाला कोई भी व्यक्ति हमारे संविधान निर्माता के खिलाफ जा रहा है।’’

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उन्होंने यह भी कहा कि पूर्व में अविभाजित आंध्र प्रदेश और महाराष्ट्र की ओर से किए गए मुसलमानों के लिए धर्म-आधारित आरक्षण लागू करने के प्रयासों को उच्च न्यायालयों और उच्चतम न्यायालय ने खारिज कर दिया था।

RSS against Religion-based reservation  होसबाले ने इस बात पर जोर दिया कि अदालतों ने ऐसे आरक्षण के प्रावधानों को खारिज किया है। महाराष्ट्र में स्थित मुगल बादशाह औरंगजेब की कब्र को लेकर उठे विवाद के बारे में पूछे गए सवाल पर संघ नेता ने कहा कि औरंगजेब का महिमामंडन किया गया, न कि सामाजिक सद्भाव में विश्वास करने वाले उसके भाई दारा शिकोह का।

होसबाले ने कहा कि भारत के मूल्यों के खिलाफ जाने वाले लोगों को आदर्श बनाया गया। उन्होंने मुगल बादशाह अकबर का विरोध करने के लिए राजपूत राजा महाराणा प्रताप जैसी शख्सियतों की सराहना की। आरएसएस नेता ने दावा किया कि ‘‘आक्रमणकारी मानसिकता’’ वाले लोग भारत के लिए खतरा पैदा करते हैं। उन्होंने कहा, ‘‘हमें उन लोगों के साथ खड़ा होना चाहिए जो भारतीय मूल्यों का समर्थन करते हैं।’’

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राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) धर्म आधारित आरक्षण का विरोध क्यों कर रहा है?

RSS का कहना है कि भारत का संविधान धर्म के आधार पर आरक्षण की अनुमति नहीं देता। संगठन के अनुसार, इस तरह का आरक्षण संविधान निर्माता डॉ. बी. आर. आंबेडकर के विचारों के खिलाफ है।

क्या पहले भी धर्म-आधारित आरक्षण को अदालतों ने खारिज किया है?

हां, पूर्व में अविभाजित आंध्र प्रदेश और महाराष्ट्र में मुस्लिमों को दिए गए धर्म-आधारित आरक्षण को उच्च न्यायालयों और उच्चतम न्यायालय ने अवैध करार दिया था।

कर्नाटक सरकार ने मुसलमानों को सरकारी ठेकों में 4% आरक्षण क्यों दिया?

कर्नाटक सरकार ने सामाजिक और आर्थिक पिछड़ेपन का हवाला देते हुए मुसलमानों को सरकारी ठेकों में 4% आरक्षण देने का फैसला किया है। यह निर्णय राजनीतिक और कानूनी बहस का विषय बन गया है।

RSS ने औरंगजेब और दारा शिकोह को लेकर क्या कहा?

RSS के सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले ने कहा कि भारत में औरंगजेब जैसे शासकों का महिमामंडन किया गया, जबकि दारा शिकोह जैसे संतुलित और भारतीय संस्कृति के समर्थकों को भुला दिया गया।