नई दिल्ली: संसद का शीत सत्र जारी है। फिलहाल संसद में कामकाज से अलग बीते 13 दिसंबर को संसद में हुई घुसपैठ को लेकर पक्ष और विपक्ष के बीच तलवारें खींची हुई है। इस पूरे मसले पर विपक्ष सरकार पर हमलावर है। वह लगातार सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए संसद को ठप्प करने में जुटे हुए है। ऐसे में सदन की तरफ से हंगामा करने वाले सांसदों के खिलाफ सख्त रुख अपनाया जा रहा है। पिछले दिनों जहां लोकसभा स्पीकर ने 13 सांसदों को निलंबित कर दिया था तो वही एक बार फिर इसी तरह को बड़ी कार्रवाई सामने आई है।
दरअसल लोकसभा अध्यक्ष की तरफ से शीतकालीन सत्र में लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी सहित कुल 33 विपक्षी सांसदों को आज शेष सत्र के लिए संसद से निलंबित कर दिया गया है। स्पीकर के इस आदेश ने आग में घी डालने का काम किया और फिर समूचा विपक्ष भड़क उठा। सरकार के इस फैसले पर मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस ने कड़ी आपत्ति दर्ज कराई है। कांग्रेस के प्रमुख मल्लिकार्जुन खरगे ने इसे सीधे तौर पर मोदी सरकार के द्वारा संसद और लोकतंत्र पर हमला बताया। खरगे ने ट्वीट करते हुए अपने एक्स अकाउंट पर लिखा लि “13 दिसंबर 2023 को संसद पर एक हमला हुआ,
आज फ़िर मोदी सरकार ने संसद और लोकतंत्र पर हमला किया है। तानाशाही मोदी सरकार द्वारा अभी तक 92 विपक्षी सांसदों को निलंबित कर, सभी लोकतांत्रिक प्रणालियों को कूड़ेदान में फेंक दिया गया है।
हमारी दो सरल और सहज माँगे हैं –
1. केंद्रीय गृह मंत्री को संसद की सुरक्षा में गंभीर उल्लंघन पर संसद के दोनों सदनों में बयान देना चाहिए।
2. इस पर विस्तृत चर्चा होनी चाहिए।
प्रधानमंत्री जी अखबार को इंटरव्यू दे सकते हैं;
गृह मंत्री टीवी चैनलों को इंटरव्यू दे सकते हैं…
लेकिन, भारत की संसद जो देश के पक्ष-विपक्ष दोनों, पक्षों का प्रतिनिधित्व करती है, यहाँ भाजपा अपनी जवाबदेही से भाग रही है !
विपक्ष-रहित संसद में मोदी सरकार अब महत्वपूर्ण लंबित कानूनों को बिना किसी चर्चा-बहस या असहमति से बहुमत के बाहुबल से पारित करवा सकती है !
13 दिसंबर 2023 को संसद पर एक हमला हुआ,
आज फ़िर मोदी सरकार ने संसद और लोकतंत्र पर हमला किया है।तानाशाही मोदी सरकार द्वारा अभी तक 92 विपक्षी सांसदों को निलंबित कर, सभी लोकतांत्रिक प्रणालियों को कूड़ेदान में फेंक दिया गया है।
हमारी दो सरल और सहज माँगे हैं –
1. केंद्रीय गृह…
— Mallikarjun Kharge (@kharge) December 18, 2023
लगातार विपक्ष एक हंगामे के बाद राज्यसभा के सभापति जगदीप धनकड़ ने भी बड़ी कार्रवाई की है। उन्होंने हंगामे के आरोप में 45 विपक्षी सांसदों को पूरे सत्र के लिए (22 दिसंबर तक) निलंबित कर दिया।
गौरतलब है कि राज्यसभा में सांसदों की संख्या 245 है। इसमें भाजपा और उसके सहयोगी दलों के 105, I.N.D.I.A के 64 और अन्य 76 हैं। इनमें से विपक्ष के 46 सांसद पूरे सेशन के लिए सस्पेंड कर दिया गया है।
13 दिसंबर 2023 को संसद पर एक हमला हुआ,
आज फ़िर मोदी सरकार ने संसद और लोकतंत्र पर हमला किया है।तानाशाही मोदी सरकार द्वारा अभी तक 92 विपक्षी सांसदों को निलंबित कर, सभी लोकतांत्रिक प्रणालियों को कूड़ेदान में फेंक दिया गया है।
हमारी दो सरल और सहज माँगे हैं –
1. केंद्रीय गृह…
— Mallikarjun Kharge (@kharge) December 18, 2023
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