कोलकाता, 30 जनवरी (भाषा) महाकुंभ मेले में भगदड़ में मारे गए 30 श्रद्धालुओं में शामिल पश्चिम बंगाल की दो महिलाओं के परिजनों ने बृहस्पतिवार को आरोप लगाया कि प्रयागराज में बिना मृत्यु प्रमाण पत्र के शव उन्हें सौंप दिए गए।
परिजनों ने दावा किया कि केवल एक कागज का टुकड़ा दिया गया जिसमें लिखा था कि शव उन्हें दे दिया गया है।
पश्चिम बंगाल के एक वरिष्ठ मंत्री ने आरोप लगाया कि महाकुंभ मेले में ‘पूरा कुप्रबंधन’ है।
राज्य की दो बुजुर्ग महिलाओं की बुधवार को महाकुंभ में हुई भगदड़ में मौत हो गयी थी। ये दोनों कोलकाता के गोल्फ ग्रीन क्षेत्र की बसंती पोद्दार और पश्चिम मेदिनीपुर जिले के सालबोनी की उर्मिला भुनिया थीं।
घटना को याद करते हुए पोद्दार के बेटे सुरजीत ने कहा कि उन्हें अपनी मां को अस्पताल ले जाने का समय नहीं मिला।
सुरजीत ने कहा, ‘बाद में हमें मेडिकल कॉलेज रेफर कर दिया गया। मुझे एक वाहन और एक पुलिसकर्मी दिया गया। कोई मृत्यु प्रमाण पत्र जारी नहीं किया गया। उन्होंने मुझे बताया कि मृत्यु प्रमाण पत्र यहां के स्थानीय पुलिस थाने को भेजा जाएगा।’
उन्होंने दावा किया कि कागज का जो लिखित टुकड़ा सौंपा गया उस पर न तो कोई आधिकारिक मुहर थी और न ही उत्तर प्रदेश सरकार के किसी अधिकारी के हस्ताक्षर थे।
सुरजीत ने बताया कि उनकी मां का शव उन्हें सौंपने से पहले उनसे एक कागज पर हस्ताक्षर करवाए गए।
उनका बयान दूसरी मृतक महिला उर्मिला भुनिया के परिवार के साथ घटित घटना से मिलता-जुलता था।
उनके भाई दुलाल ने कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार ने उनकी बहन के लिए कोई मृत्यु प्रमाण पत्र जारी नहीं किया।
दुलाल ने कहा, ‘मुझे घटना के बारे में तब पता चला जब मेरे भतीजे ने मुझे फोन किया। वे एक वाहन से वापस आ रहे थे। उसने मुझे बताया कि कोई मृत्यु प्रमाण पत्र जारी नहीं किया गया था और शव उसे एक नोट के साथ सौंप दिया गया था।’
बंगाल के ऊर्जा मंत्री अरूप बिस्वास ने आरोप लगाया कि ‘पूरे कुप्रबंधन’ के कारण यह तबाही हुई है।
टॉलीगंज के विधायक बिस्वास ने कहा, ‘उत्तर प्रदेश सरकार मेला आयोजित करने में विफल रही है। यह केवल एक विज्ञापन है। श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए कोई योजना नहीं थी। उन्हें मृत्यु प्रमाण पत्र सौंपना चाहिए था। यह प्रक्रिया नहीं है।’
सुरजीत का निवास गोल्फ ग्रीन में है जो टॉलीगंज विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत आता है।
स्थानीय पार्षद तपन दासगुप्ता ने उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा मृत्यु प्रमाण पत्र जारी न करने के पीछे साजिश की आशंका जताई।
‘पीटीआई भाषा’ से दासगुप्ता ने कहा, ‘मुझे उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा मृत्यु प्रमाण पत्र जारी न करने के पीछे एक साजिश का आभास हो रहा है। मुझे संदेह है कि महिला को मुआवजा नहीं मिलेगा। अगर जरूरत पड़ी तो मैं प्राथमिकी दर्ज कराऊंगा।’
भाषा शुभम रंजन
रंजन
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(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)