कर्नाटक: गृह मंत्री परमेश्वर से मिलकर मोहपाश में फंसाने के प्रयासों पर शिकायत दर्ज कराएंगे राजन्ना |

कर्नाटक: गृह मंत्री परमेश्वर से मिलकर मोहपाश में फंसाने के प्रयासों पर शिकायत दर्ज कराएंगे राजन्ना

कर्नाटक: गृह मंत्री परमेश्वर से मिलकर मोहपाश में फंसाने के प्रयासों पर शिकायत दर्ज कराएंगे राजन्ना

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Modified Date: March 25, 2025 / 05:57 PM IST
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Published Date: March 25, 2025 5:57 pm IST

तुमकुरु, 25 मार्च (भाषा) कर्नाटक के सहकारिता मंत्री के एन राजन्ना ने मंगलवार को कहा कि वह मोहपाश (हनी ट्रैप) में उन्हें फंसाने के कथित प्रयास के बारे में शिकायत दर्ज कराने के लिये राज्य के गृह मंत्री जी परमेश्वर से मिलेंगे।

राजन्ना ने कहा कि अन्य लोगों की तरह वह भी मोहपाश के ऐसे कृत्यों में शामिल या उनका समर्थन करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई चाहते हैं।

परमेश्वर ने बेंगलुरु में संवाददाताओं से कहा था कि राजन्ना ने मोहपाश में फंसाने के कथित प्रयास के बारे में अब तक शिकायत दर्ज नहीं कराई है, जिसके कुछ घंटों बाद मंत्री का यह फैसला सामने आया है।

राजन्ना ने कहा, “मैं आज (मंगलवार को) शिकायत दर्ज कराऊंगा और गृह मंत्री को सौंपूंगा। मैंने विधानसभा में इस बारे में बात की थी और कहा था कि मैं ऐसा करूंगा। आज तक मैं काम से जुड़ी विभिन्न प्रतिबद्धताओं के कारण शिकायत नहीं लिख पाया था।”

सहकारिता मंत्री ने संवाददाताओं से कहा, “मैंने व्यक्तिगत रूप से शिकायत लिखी है और आज (मंगलवार को) इसे गृह मंत्री को सौंपूंगा। मैं इसे टाइप करवा रहा हूं। मैं जहां भी गृह मंत्री होंगे, वहां जाऊंगा और इसे सौंपूंगा। मैंने तीन पन्नों की शिकायत में जो कुछ भी हुआ है, उसका विवरण दिया है।”

राजन्ना ने कहा कि उन्होंने शुरू में इस मुद्दे को यह मानकर खारिज कर दिया था कि ऐसी घटनाएं आम हैं, लेकिन विधानसभा में उनका नाम आने के बाद उन्होंने इस पर गंभीरता से विचार करना शुरू किया।

मंत्री ने कहा, “मैंने अपने बेंगलुरु स्थित घर में सीसीटीवी कैमरे नहीं लगवाए हैं। अगर कैमरे लगे होते, तो हम पहचान सकते थे कि कौन आया और कौन गया।”

राजन्ना ने कहा कि जिन लोगों ने उन्हें कथित तौर पर मोहपाश में फंसाने का प्रयास किया, वे अजनबी थे और इस बात की जांच की जानी चाहिए कि क्या उन्होंने स्वतंत्र रूप से काम किया या उनके पीछे कोई था।

राजन्ना ने पिछले बृहस्पतिवार को विधानसभा में बताया था कि उन्हें मोहपाश में फंसाने का प्रयास किया गया था और विभिन्न दलों के कम से कम 48 नेता इस तरह के हथकंडों का शिकार हुए हैं।

इस मुद्दे ने विधानसभा में हलचल मचा दी, जिसके बाद गृह मंत्री ने उच्च स्तरीय जांच की घोषणा की, जबकि विपक्ष ने उच्च न्यायालय के वर्तमान न्यायाधीश से इसकी न्यायिक जांच कराने की मांग की।

भाषा जितेंद्र दिलीप

दिलीप

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)