झारखंड सरकार खनन वाली जमीनों को वापस लेगी: सोरेन

झारखंड सरकार खनन वाली जमीनों को वापस लेगी: सोरेन

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  • Publish Date - February 4, 2025 / 10:05 PM IST,
    Updated On - February 4, 2025 / 10:05 PM IST

धनबाद (झारखंड), चार फरवरी (भाषा) झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने मंगलवार को कहा कि राज्य सरकार उन जमीनों को वापस लेगी जिन पर खनन कार्य पूरा हो चुका है।

सोरेन ने कहा कि कई ऐसे इलाके हैं, जहां खनन कार्य पूरा हो चुका है और जमीनें खाली पड़ी हैं, लेकिन खनन कंपनियों ने उन्हें राज्य सरकार को हस्तांतरित नहीं किया है।

झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) के 53वें स्थापना दिवस के अवसर पर धनबाद में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सोरेन ने कहा, ‘‘हमें खनन कंपनियों से अपनी जमीन वापस लेने के लिए एक और संघर्ष के लिए तैयार रहना होगा। राज्य में कई कोयला परियोजनाएं हैं, जहां खनन कार्य पूरा हो चुका है और जमीनें कोयला कंपनियों ने खाली कर दी हैं। ये जमीनें राज्य सरकार को हस्तांतरित नहीं की गई हैं।’’

उन्होंने कहा, ‘‘खनन कंपनियां ऐसी जमीनों पर स्वामित्व के लिए प्रयास करेंगी। लेकिन, ‘जल, जंगल, जमीन’ झारखंड के लोगों की है।’’

सोरेन ने कहा, ‘‘हम केंद्र सरकार से राज्य के 1.36 लाख करोड़ रुपये के खनन बकाये का भुगतान करने का आग्रह कर रहे हैं, लेकिन वे इस मुद्दे पर चुप्पी साधे हुए हैं। हम अपने अधिकारों के लिए लड़ाई जारी रखेंगे। जरूरत पड़ने पर हम कानूनी कार्रवाई भी कर सकते हैं।’’

झामुमो की स्थापना 4 फरवरी 1973 को शिबू सोरेन, बिनोद बिहारी महतो और ए के रॉय ने की थी।

सोरेन ने कहा कि झारखंड तभी तरक्की करेगा जब गांवों का विकास होगा। उन्होंने कहा कि सरकार ने गांवों और वहां के निवासियों के विकास के लिए कई योजनाएं शुरू की हैं।

केंद्रीय बजट पर निराशा व्यक्त करते हुए मुख्यमंत्री सोरेन ने आरोप लगाया कि इसमें झारखंड के लिए कुछ भी नहीं है।

भाषा अमित पवनेश

पवनेश