नयी दिल्ली, दो फरवरी (भाषा) स्वास्थ्य सेवा से जुड़े विशेषज्ञों ने रोगी केंद्रित पहल और चिकित्सा पर्यटन के लिए आसान वीजा मानदंडों के मद्देनजर केंद्रीय बजट 2025-26 की व्यापक रूप से सराहना की है। उनका कहना है कि इससे वैश्विक स्वास्थ्य सेवा केंद्र के रूप में भारत की प्रतिष्ठा मजबूत होगी।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को बजट पेश करते हुए कहा कि निजी क्षेत्र के साथ साझेदारी में क्षमता निर्माण और आसान वीजा मानदंडों के साथ ‘मेडिकल टूरिज्म’ और ‘हील इन इंडिया’ को बढ़ावा दिया जाएगा।
सीतारमण ने कहा कि इसके अलावा सभी सरकारी स्वास्थ्य केंद्रों को ब्रॉडबैंड कनेक्टिविटी प्रदान की जाएगी।
‘मेडिकल टेक्नोलॉजी एसोसिएशन ऑफ इंडिया’ के अध्यक्ष पवन चौधरी ने घोषणाओं की सराहना करते हुए कहा कि चिकित्सा पर्यटन के लिए वीजा प्रक्रियाओं को सरल बनाना वर्तमान भू-राजनीति, विशेष रूप से बांग्लादेश के घटनाक्रम जैसे प्रभावों से निपटने के लिए समय पर उठाया गया कदम है।
उन्होंने कहा, ‘‘कुल मिलाकर मरीजों और चिकित्सकों का यह सीमा-पार प्रवाह बाजार का विस्तार करेगा और अधिक कुशल स्वास्थ्य देखभाल कर्मी तैयार करेगा।’’
एशियन हॉस्पिटल के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक डॉ. एनके पांडे ने कहा कि एक नयी स्वास्थ्य देखभाल अर्थव्यवस्था बनाने के लिए एक सही नीतिगत प्रोत्साहन की आवश्यकता है और केंद्रीय बजट में बुनियादी ढांचे के विकास, क्षमता निर्माण, डिजिटल स्वास्थ्य, तकनीक-सक्षम सेवाओं और चिकित्सा पर्यटन पर गंभीरता से ध्यान दिया गया है।
उन्होंने कहा, ‘‘आसान वीजा मानदंडों के माध्यम से चिकित्सा पर्यटन को बढ़ावा दिए जाने से अंतरराष्ट्रीय मरीज आएंगे, जिससे वैश्विक स्वास्थ्य सेवा केंद्र के रूप में भारत की प्रतिष्ठा मजबूत होगी।’’
आकाश हेल्थकेयर के प्रबंध निदेशक डॉ. आशीष चौधरी ने कहा कि केंद्रीय बजट भारत की स्वास्थ्य सेवा प्रणाली को मजबूत करने के लिए एक प्रगतिशील दृष्टिकोण पेश करता है।
भाषा नेत्रपाल पारुल
पारुल
(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)