नयी दिल्ली, 19 नवंबर (भाषा) दिल्ली उच्च न्यायालय ने मंगलवार को दिल्ली सरकार के राजस्व विभाग को विभिन्न ‘वन स्टॉप सेंटर’ के कर्मचारियों के बकाया वेतन का भुगतान करने और व्यवस्था को सुचारू बनाने के लिए कदम उठाने तथा दोषी अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई का निर्देश दिया।
‘वन-स्टॉप सेंटर’(ओएससी) शहर में हिंसा से प्रभावित महिलाओं को सहायता प्रदान करने के लिए बनाए गए हैं।
अदालत को बताया गया कि पूर्वी जिले में ओएससी में कार्यरत कर्मचारियों को पिछले साल से वेतन नहीं दिया गया है, जबकि पश्चिम, उत्तर और दक्षिण जिलों में कार्यरत कर्मचारियों को पिछले कई महीनों से उनका वेतन नहीं मिला है।
मुख्य न्यायाधीश मनमोहन और न्यायमूर्ति तुषार राव गेडेला की पीठ ने राजस्व विभाग को ‘‘वेतन का भुगतान न करने के लिए जिम्मेदारी तय करने और कानून के अनुसार दोषी अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई करने’’ तथा दो सप्ताह के भीतर वस्तुस्थिति रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया।
महिला एवं बाल विकास विभाग तथा राजस्व विभाग के सचिव वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से सुनवाई में पेश हुए तथा उन्होंने स्वीकार किया कि ओएससी के लिए केंद्र द्वारा दी गई 87 प्रतिशत धनराशि का अब तक उपयोग नहीं किया गया है तथा कई जिलों में कर्मचारियों को महीनों से वेतन का भुगतान नहीं किया गया है।
भाषा शफीक अविनाश
अविनाश
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