अदालत ने सौतेली बेटियों की हत्या के आरोपी को दी अंतरिम जमानत |

अदालत ने सौतेली बेटियों की हत्या के आरोपी को दी अंतरिम जमानत

अदालत ने सौतेली बेटियों की हत्या के आरोपी को दी अंतरिम जमानत

:   Modified Date:  September 30, 2024 / 03:47 PM IST, Published Date : September 30, 2024/3:47 pm IST

कोलकाता, 30 सितंबर (भाषा) कलकत्ता उच्च न्यायालय ने अपनी दो नाबालिग सौतेली बेटियों की हत्या के आरोप में 11 साल से अधिक समय से हिरासत में रह रहे एक व्यक्ति को सुनवाई में देरी के कारण अंतरिम जमानत दे दी है।

कोलकाता के ढाकुरिया और पार्क सर्कस रेलवे स्टेशन के पास जनवरी 2012 में दो दिनों के भीतर नौ और 15 वर्षीय दो लड़कियों के शव बरामद किए गए थे।

लेक पुलिस थाने में मामला दर्ज किया गया और कोलकाता पुलिस ने 2013 में दोनों लड़कियों की हत्या के आरोप में इश्तियाक अहमद को गिरफ्तार किया था। तब से वह हिरासत में है।

अहमद के साथ उसकी दोनों सौतेली बेटियां रहती थीं और उसकी पत्नी दूसरे राज्य में काम करती थी।

उच्च न्यायालय में अहमद के अधिवक्ता ने मुकदमे में देरी के कारण उसकी जमानत की मांग की तथा कहा कि वह 11 वर्षों से अधिक समय से हिरासत में है।

राज्य सरकार के अधिवक्ता ने सात मई को अदालत के समक्ष कहा था कि अभियोजन पक्ष के शेष गवाहों से एक महीने के भीतर पूछताछ की जाएगी।

न्यायमूर्ति अरिजीत बनर्जी की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने 24 सितंबर को कहा कि यह निश्चित नहीं है कि मुकदमा वास्तव में कब समाप्त होगा क्योंकि अभियोजन पक्ष के दो गवाहों की अब भी गवाही होनी बाकी है तथा याचिकाकर्ता 11 वर्ष और सात महीने से अधिक समय से हिरासत में है।

पीठ ने अपने आदेश कहा, ‘‘मुकदमे की प्रगति में अत्यधिक और अस्पष्ट देरी के आधार पर हम याचिकाकर्ता को अंतरिम जमानत पर रिहा करते हैं।’’ पीठ में न्यायमूर्ति अपूर्व सिन्हा रे भी शामिल थे।

पीठ ने निर्देश दिया कि इश्तियाक अहमद उर्फ इश्तियाक एस.के. को 10 हजार रुपये की मुचलका राशि और उतने ही धनराशि के दो जमानतदार देने पर अंतरिम जमानत पर रिहा किया जाए जिनमें से एक जमानतदार स्थानीय होना चाहिए।

अदालत ने यह भी निर्देश दिया कि वह कोलकाता के लेक पुलिस थाने के अधिकार क्षेत्र से बाहर नहीं जाएगा और अगले आदेश तक सप्ताह में दो बार पुलिस थाने के प्रभारी अधिकारी को रिपोर्ट करेगा।

अदालत ने अहमद को अगले आदेश तक प्रत्येक सुनवाई तिथि पर अदालत में उपस्थित होने तथा गवाहों को डराने-धमकाने या किसी भी तरह से साक्ष्यों से छेड़छाड़ नहीं करने का निर्देश दिया।

भाषा यासिर नरेश

नरेश

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)