Vivek Tankha on the Ban on Electoral Bonds: दिल्ली। आगामी मई-जून में देशभर में लोकसभा होने वाले है इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने चुनावी तैयारी में जुटे सभी सियासी दलों को बड़ा झटका दिया हैं। सुप्रीम कोर्ट ने पार्टियों के नए इलेक्टोरल बॉन्ड्स पर प्रतिबन्ध लगा दिया हैं। कोर्ट ने अपने फैसले में इलेक्टोरल बॉन्ड सूचना के अधिकार का उल्लंघन माना है। साथ ही इस मामले में एसबीआई से तीन हफ्ते के अंदर जबाव मांगा गया है।
Vivek Tankha on the Ban on Electoral Bonds: इस मामले में कांग्रेस के राज्यसभा सांसद और वरिष्ठ अधिवक्ता विवेक तन्खा ने कहा कि इलेक्टरल बॉन्ड पर सुप्रीम कोर्ट का फैसला प्रजातंत्र की जीत है। इलेक्टोरल बॉन्ड लोकतंत्र को खत्म करने वाली योजना थी। ये योजना मात्र एक पार्टी को फायदा पहुंचाने के लिए लाई गई थी।
Vivek Tankha on the Ban on Electoral Bonds: आगे उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि ये योजना विपक्ष को कुचलने के लिए लाई गई थी। इलेक्टोरल बॉन्ड की योजना सत्ता पक्ष को फायदा पहुंचाने वाली थी। इलेक्टरल बॉन्ड पर सुप्रीम कोर्ट के प्रतिबंध का स्वागत, अब निर्वाचन आयोग को SBI से डिटेल लेकर वेबसाइट पर दानदाताओं के नाम और राशि सार्वजनिक करने होंगे।
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