Kanhaiya Lal Murder Case: राजस्थान। कन्हैयालाल हत्याकांड में शामिल 11 आरोपियों में से आरोपी मोहम्मद जावेद को हाईकोर्ट से जमानत मिल गई है। आरोपी मोहम्मद जावेद को 2 लाख रुपये के जमानत बांड और 1 लाख रुपये की जमानत पर जमानत दे दी गई है। इस मामले में मोहम्मद जावेद पर रेकी करने का आरोप है। जस्टिस पंकज भंडारी की खंडपीठ ने जमानत की अर्जी पर सुनवाई करते हुए कहा- NIA ने केवल कॉल डिटेल के आधार पर आरोपी को गिरफ्तार किया है। लेकिन, NIA आरोपी की लोकेशन साबित नहीं कर पाई है।
बता दें कि 11 आरोपियों में से जावेद पर मोहम्मद रियाज अत्तारी के साथ मिलकर योजना बनाने का आरोप है। एनआईए कोर्ट से 31 अगस्त 2023 को जमानत खारिज होने के बाद आरोपी ने हाई कोर्ट में जमानत के लिए अपील की थी। हाई कोर्ट में जमानत पर बहस करते हुए जावेद के वकील सैयद सआदत अली ने कहा- एनआईए कह रही है कि जावेद ने इंडियाना टी स्टॉल पर बैठकर कन्हैयालाल की हत्या की योजना बनाई थी। लेकिन, टी स्टॉल मालिक धर्मेन्द्र साहू ने जावेद के उस दिन टी स्टॉल पर आने को कंफर्म नहीं किया।
NIA का यह भी कहना है कि जावेद ने कन्हैयालाल की रेकी करके रियाज को बताया था। लेकिन, दुकान पर लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज से यह बात साबित होती है कि जावेद कन्हैयालाल की दुकान पर गया ही नहीं। जावेद के वकील अली ने कहा- NIA के अनुसार, रियाज (मुख्य आरोपी) का कॉल जावेद के पास आया था, जबकि जावेद ने कभी रियाज को कॉल ही नहीं किया। उसके मोबाइल में रियाज का नंबर भी सेव नहीं था। वह चूड़े की दुकान पर सेल्समैन का काम करता था। दिनभर उसे ग्राहकों के फोन आते थे।
बता दें कि, मोहम्मद जावेद से पहले इस मामले में एक अन्य आरोपी फरहाद मोहम्मद उर्फ बबला को एनआईए कोर्ट 1 सितम्बर 2023 को जमानत दी थी। फरहाद पर एनआईए ने आर्म्स एक्ट का मामला दर्ज किया था। जमानत देते समय कोर्ट ने कहा था कि आरोपी पर केवल आर्म्स एक्ट का आरोप है। उसके पास से तलवार बरामद हुई है या नहीं, तलवार भोंटी थी या धारदार। इसका फैसला जमानत के स्तर पर नहीं किया जा सकता है। आरोपी जुलाई 2022 से जेल में है। ऐसे में उसे जमानत का लाभ दिया जाता है।