नई दिल्ली: सरकार ने सरकारी कर्मचारियों को चिल्ड्रन अलाउंस (CEA Claim) क्लेम करने का एक और मौका दिया है। केंद्र सरकार ने क्लेम फॉर्म के साथ दूसरे दस्तावेजों की कॉपी जारी की है। सरकार ने इसके साथ ही नौकरी के दौरान जान गवाने वालों को भी इसका फायदा देने का फैसला किया है। इनमें फिजिकल कैजुएलिटी, मिसिंग इन एक्शन, मेडिकल बोर्ड आउट केसेज वाले कर्मचारी शामिल हैं। इन कर्मचारियों को 1 अप्रैल 2017 से चिल्ड्रन अलाउंस देने का फैसला किया गया है।
सरकारी आदेश में कहा गया है कि इन लोगों ने अगर जुलाई 2017 से ये अलाउंस क्लेम नहीं किया है तो कर लें। इसमें Children Education Allowance 2250 रुपए प्रति बच्चा प्रति महीना होगा। जबकि Hostel Subsidy की रकम 6750 रुपए प्रति बच्चा प्रति महीना होगी। यानि आप 4 साल का क्लेम एकसाथ कर सकते हैं। अगर रकम कैलकुलेट की जाए तो एक बच्चे पर CEA और Hostel Subsidy के तौर पर यह रकम 4 लाख से ऊपर बनती है।
आदेश के मुताबिक फिजिकल कैजुएलिटी केस में क्लेम CDA पुणे प्रोसेस करेगा। यह क्लेम दो बड़े बच्चों के लिए 12वीं क्लास तक लिया जा सकता है। क्लेम को अकादमिक सेशन खत्म होने पर किया जाएगा। Children Education Allowance दो बच्चों के लिए मिलता है। हालांकि दूसरी संतान जुड़वां हैं तो पहली संतान के साथ जुड़वां बच्चों की पढ़ाई के लिए भी यह भत्ता मिलेगा।
स्कूल बंद होने के कारण बच्चों को न ही Report Card मिल पा रहा है और न ही फीस रसीद। Fees भी ऑनलाइन जमा हो रही है। Claim में ये पेपर लगते हैं। Department of Personnel & Training ने कर्मचारियों को Self Declaration देने को कहा है। इसके साथ उन्हें रिपोर्ट कार्ड या फीस पेमेंट के Email/SMS का प्रिंट आउट देना होगा। स्कूल को प्रमाणपत्र देना होगा जिसे Claim दस्तावेज के साथ लगाना होगा। प्रमाणपत्र से यह बात लिखी होगी कि बच्चा उस संस्थान का छात्र/छात्रा है और उस साल उसने वहां पढ़ाई की। CEA Claim के लिए कर्मचारी को बच्चे के रिपोर्ट कार्ड की सेल्फ अटेस्टेड कॉपी और फीस की रसीद भी लगानी होगी।