छत्तीसगढ़ सरकार को केंद्र ने दिया बड़ा झटका! अपने हाथों में लिया 'प्रसाद' के लिए जारी फंड का कंट्रोल |

छत्तीसगढ़ सरकार को केंद्र ने दिया बड़ा झटका! अपने हाथों में लिया ‘प्रसाद’ के लिए जारी फंड का कंट्रोल

Center gave a big blow to Chhattisgarh government: डोंगरगढ़ में विकास कार्य प्रारंभ भी हो गया था, लेकिन अब केंद्र सरकार ने फंड का कंट्रोल वापस अपने हाथ में ले लिया है।

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Modified Date: November 29, 2022 / 08:40 PM IST
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Published Date: November 12, 2022 8:57 am IST

Center gave a big blow to Chhattisgarh government: रायपुर। केंद्र सरकार ने छत्तीसगढ़ सरकार को फिर से एक बड़ा झटका दिया है। दरअसल, धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार ने प्रसाद योजना बनाई थी…जिसमें छत्तीसगढ़ के डोंगरगढ़ का चयन किया गया था…और इसके लिए लगभग 45 करोड़ रुपए का फंड जारी किया गया था, लेकिन अब केंद्र सरकार ने विकास कार्यों के लिए दिए गए फंड का कंट्रोल अपने हाथ में ले लिया है । डोंगरगढ़ में विकास कार्य प्रारंभ भी हो गया था, लेकिन अब केंद्र सरकार ने फंड का कंट्रोल वापस अपने हाथ में ले लिया है। इसका आशय यह है कि राज्य सरकार को सिर्फ वर्क प्रोगेस रिपोर्ट देनी होगी और ठेकेदार को केंद्र सरकार अपनी एजेंसी के माध्यम से भुगतान करेगी।

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वहीं इस पूरे मामले में पर्यटन बोर्ड के अध्यक्ष अटल श्रीवास्तव का कहना है कि केंद्र और राज्य के बीच आपस में विश्वास होता है..कि केंद्र पैसा भेजेगी और राज्य सरकार उसका उपयोग कर विकास कार्य करेगी…लेकिन इस तरह का निर्णय क्यों लिया गया है..ये समझ से परे है…वहीं इस मामले में पर्यटन बोर्ड के पूर्व उपाध्यक्ष केदार गुप्ता का कहना है कि केंद्र पैसा दे रही है…लेकिन राज्य इसका सही उपयोग करने के बजाए भ्रष्टाचार में लिप्त है…शायद इसलिए केंद्र सरकार ने ऐसा निर्णय लिया है ।

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जानें क्या है प्रसाद योजना?

बता दें कि भारत सरकार ने पर्यटन मंत्रालय के तहत वर्ष 2014-2015 में पीआरएएसएडी (प्रसाद) योजना शुरू की थी। प्रसाद योजना का पूर्ण रूप ‘तीर्थयात्रा कायाकल्प और आध्यात्मिक संवर्द्धन अभियान’ है। यह योजना धार्मिक पर्यटन अनुभव को समृद्ध करने के लिए पूरे भारत में तीर्थ स्थलों को विकसित करने और पहचान करने पर केंद्रित है।

इसका उद्देश्य एक संपूर्ण धार्मिक पर्यटन अनुभव प्रदान करने के लिए तीर्थ स्थलों को प्राथमिकता, नियोजित और संधारनीय तरीके से एकीकृत करना है। घरेलू पर्यटन का विकास बहुतहद तक तीर्थ पर्यटन पर निर्भर करता है। तीर्थ पर्यटन की क्षमता का दोहन करने के लिए सरकार द्वारा अन्य हितधारकों के सहयोग के साथ-साथ चयनित तीर्थ स्थलों के समग्र विकास की आवश्यकता है। प्रसाद योजना का उद्देश्य भारत में धार्मिक पर्यटन के विकास और संवर्धन का मार्ग प्रशस्त करना है।

 
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