रायपुर: Death Threat to Journalist Sandeep Shukla लोकतंत्र का चौथा स्तंभ कहे जाने वाले पत्रकारों को सच्ची खबर दिखा पाना कितना मुश्किल हो गया इसे आप छत्तीसगढ़ में पिछले 24 घंटे में हुई छत्तीसगढ़ में घटनाओं से समझ सकते हैं। जहां एक ओर बीजापुर में पत्रकार मुकेश चंद्राकर की हत्या कर दी गई तो दूसरी ओर छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश के नंबर 1 न्यूज चैनल IBC24 के दबंग पत्रकार संदीप शुक्ला को जान से मारने की धमकी दी गई है। आपको जानकर और भी हैरानी तब होगी जब आप ये जानेंगे कि संदीप शुक्ला को वन विभाग के अफसर ने जान से मारने की धमकी दी है।
Death Threat to Journalist Sandeep Shukla मिली जानकारी के अनुसार IBC24 के दबंग पत्रकार संदीप शुक्ला को सीता नदी वन क्षेत्र के रेंज ऑफिसर ने जान से मारने की धमकी दी है। संदीप शुक्ला की मानें तो अफसर ने एक दो बार नहीं बल्कि 6 बार फोन लगाकर जान से मारने की धमकी है। बताया जा रहा है कि संदीप ने रेंज अधिकारी की अवैध वसूली का खुलासा भांडाफोड़ किया था, जिसके बाद बौखलाए अफसर ने संदीप शुक्ला को फोन कर सीधे जान से मारने की धमकी दे डाली। बता दें कि संदीप शुक्ला की पहचान छत्तीसगढ़ के बेबाक और निर्भीक पत्रकार के तौर पर होती है। कई बार देखा गया है कि संदीप शुक्ला के खुलासे के बाद ही सरकार ने संज्ञान लेते हुए अफसरों पर कड़ी कार्रवाई की है।
बता दें कि धमतरी जिले में इन दिनों वन विभाग के अधिकारियों की मिलीभगत से अवैध वसूली का खुलासा हुआ है। IBC24 की टीम ने इस गोरखधंधे को उजागर किया। बताया जा रहा है कि वन विभाग के चेकपोस्ट पर हर तरह के वाहनों से बिना किसी पावती या रसीद के 20 से 50 रुपए तक की वसूली की जा रही है। खास बात यह है कि ड्राइवरों को भी यह समझ नहीं आता कि उनसे यह रकम क्यों और किस आधार पर ली जा रही है। IBC24 ने अपने गुप्त कैमरे से इस अवैध गतिविधि का वीडियो बनाया है। फुटेज में साफ दिखा कि चेकपोस्ट पर बेधड़क तरीके से वाहन चालकों से पैसे वसूले जा रहे हैं। यह गोरखधंधा केवल पैसे वसूलने तक सीमित नहीं है, बल्कि सरकारी विभाग की छवि पर भी सवाल खड़े करता है।
दूसरी ओर बस्तर के युवा और साहसी पत्रकार मुकेश चंद्राकर का शव बीजापुर के चट्टानपारा में एक सड़क ठेकेदार के घर के सेप्टिक टैंक में मिला। उनके माथे पर चोट के गहरे निशान थे, जिससे हत्या का संदेह गहराता है। बताया जा रहा है कि मुकेश का हाल ही में एक सड़क ठेकेदार से विवाद हुआ था। मुकेश के परिवार ने बताया कि वह 1 जनवरी को घर से निकले थे और उसके बाद वापस नहीं लौटे। परिजनों ने उनकी गुमशुदगी की रिपोर्ट पुलिस में दर्ज कराई थी। पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच शुरू की और पूछताछ के दौरान ठेकेदार के घर की तलाशी ली। इसके बाद सेप्टिक टैंक से मुकेश का शव बरामद किया गया।
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मुकेश चंद्राकर बस्तर के नक्सल प्रभावित इलाकों में साहसिक रिपोर्टिंग के लिए जाने जाते थे। उनका यूट्यूब चैनल ‘बस्तर जंक्शन’ पूरे देश में लोकप्रिय था। वह नक्सल मामलों, जनअदालतों और आदिवासी समुदाय से जुड़े मुद्दों को बेबाकी से सामने लाते थे। मुकेश ने न केवल पत्रकारिता में अपनी पहचान बनाई, बल्कि एक डीआरजी जवान की नक्सलियों से सुरक्षित रिहाई में भी अहम भूमिका निभाई। उनकी निडर पत्रकारिता और अद्वितीय रिपोर्टिंग ने उन्हें बस्तर के ग्रामीणों के बीच बेहद लोकप्रिय बनाया था।
मुकेश चंद्राकर की हत्या का मुख्य कारण उनका एक सड़क ठेकेदार के साथ हुआ विवाद बताया जा रहा है। उनका शव ठेकेदार के घर के सेप्टिक टैंक से मिला, जिससे हत्या की आशंका पुख्ता होती है।
संदीप शुक्ला ने वन विभाग के अधिकारियों की अवैध वसूली का खुलासा किया था, जिससे बौखलाए अधिकारी ने उन्हें फोन पर जान से मारने की धमकी दी।
IBC24 की टीम ने छत्तीसगढ़ के धमतरी जिले में वन विभाग के चेकपोस्ट पर हो रही अवैध वसूली का भंडाफोड़ किया। यहां वाहनों से बिना रसीद के 20 से 50 रुपए तक वसूले जा रहे थे।
मुकेश चंद्राकर का यूट्यूब चैनल ‘बस्तर जंक्शन’ नक्सल प्रभावित इलाकों, जनअदालतों, और आदिवासी समुदाय के मुद्दों पर आधारित था। उनकी रिपोर्टिंग साहसिक और बेबाक मानी जाती थी।
छत्तीसगढ़ में नक्सल प्रभावित इलाकों और भ्रष्टाचार के खिलाफ रिपोर्टिंग करना बेहद जोखिम भरा है। यहां पत्रकारों को जान से मारने की धमकी और हत्या जैसी गंभीर घटनाओं का सामना करना पड़ता है।