छत्तीसगढ़ : सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में 30 नक्सली ढेर, एक जवान की मौत |

छत्तीसगढ़ : सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में 30 नक्सली ढेर, एक जवान की मौत

छत्तीसगढ़ : सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में 30 नक्सली ढेर, एक जवान की मौत

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Modified Date: March 20, 2025 / 07:45 PM IST
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Published Date: March 20, 2025 7:45 pm IST

बीजापुर/कांकेर, 20 मार्च (भाषा) छत्तीसगढ़ के बीजापुर और कांकेर जिले में सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ में 30 नक्सली मारे गए। इस दौरान एक जवान की भी मृत्यु हो गई। पुलिस अधिकारियों ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी।

पुलिस अधिकारियों ने बताया कि जिले के गंगालूर थाना क्षेत्र अंतर्गत बीजापुर और दंतेवाड़ा जिले के सीमावर्ती क्षेत्र में तथा कांकेर जिले में सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में सुरक्षाबलों ने 30 नक्सलियों को मार गिराया।

उन्होंने कहा कि बीजापुर जिले में 26 नक्सली मारे गए और एक जवान की भी मृत्यु हो गई, जबकि कांकेर जिले में चार अन्य नक्सली मारे गए।

अधिकारियों ने बताया कि बीजापुर और दंतेवाड़ा जिले के सीमावर्ती क्षेत्र में गंगालूर थाने से नक्सल रोधी अभियान पर सुरक्षाबलों के एक संयुक्त दल को रवाना किया गया था।

अधिकारियों ने बताया कि अभियान के दौरान आज सुबह सात बजे से नक्सलियों और सुरक्षाबलों के बीच मुठभेड़ हो गई।

उन्होंने कहा कि सुरक्षाबलों ने मुठभेड़ स्थल से भारी मात्रा में हथियार और गोला बारूद के साथ 26 नक्सलियों के शव बरामद किए हैं। उन्होंने बताया कि इस घटना में बीजापुर जिला रिजर्व गार्ड (डीआरजी) के एक जवान की भी मृत्यु हो गई।

अधिकारियों ने बताया कि क्षेत्र में मुठभेड़ और खोजी अभियान जारी है।

कांकेर जिला पुलिस अधीक्षक इंदिरा कल्याण एलेसेला ने बताया कि आज सुबह कांकेर और नारायणपुर जिले की सीमा पर जंगल में एक और मुठभेड़ तब हुई जब डीआरजी और सीमा सुरक्षा बल का एक संयुक्त दल नक्सल रोधी अभियान पर निकला था। उन्होंने बताया कि कार्रवाई के बाद चार नक्सलियों के शवों के अलावा स्वचालित हथियार भी बरामद किए गए।

पुलिस ने बताया कि दोनों मुठभेड़ स्थलों पर तलाशी अभियान जारी है।

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने इसे ‘नक्सल मुक्त भारत’ अभियान की दिशा में एक बड़ी सफलता बताया। शाह ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘नरेन्द्र मोदी सरकार नक्सलियों के विरुद्ध ‘रुथलेस अप्रोच’ (बिना कोई रहम किए) से आगे बढ़ रही है और समर्पण से लेकर समावेशन की तमाम सुविधाओं के बावजूद जो नक्सली आत्मसमर्पण नहीं कर रहे हैं, उनके खिलाफ ‘कतई बर्दाश्त नहीं करने’ की नीति अपना रही है। अगले साल 31 मार्च से पहले देश नक्सल-मुक्त होने वाला है।’’

छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा, ‘‘क्रूर, निरंकुश नक्सलवाद का अंत उचित है, भयमुक्त होगा बस्तर 2026 तक, यह सुनिश्चित है….प्रदेश में नक्सलवाद के विरुद्ध हमारी लड़ाई मजबूती से जारी है। आज सुरक्षाबलों के जवानों की नक्सलियों के साथ हुई मुठभेड़ में बीजापुर-गंगालूर में नक्सलियों के मारे जाने की खबर है। मुठभेड़ में डीआरजी के एक जवान के शहीद होने की भी दुःखद खबर है। उनकी यह शहादत व्यर्थ नहीं जाएगी।’’

साय ने लिखा, ‘‘यशस्वी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी एवं माननीय केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह जी के, मार्च 2026 तक देश-प्रदेश में नक्सलवाद के खात्मे के संकल्प को मजबूती प्रदान करते हुए सुरक्षाबलों के जवान निरंतर सफलता हासिल कर लक्ष्य की ओर तेजी से आगे बढ़ रहे हैं। जवानों को मिली यह सफलता सराहनीय है। उनके हौसले और अदम्य साहस को नमन करता हूं।’’

छत्तीसगढ़ में इस मुठभेड़ के साथ ही इस साल अब तक राज्य में अलग-अलग मुठभेड़ों में 113 नक्सली मारे जा चुके हैं। इनमें से 97 बस्तर संभाग में बीजापुर और कांकेर जिलों सहित सात जिलों में मारे गए।

नयी दिल्ली में केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा जारी एक बयान के अनुसार, 2025 में अब तक देश के विभिन्न हिस्सों में 104 नक्सलियों को गिरफ्तार किया गया और 164 ने आत्मसमर्पण किया है।

बयान के मुताबिक, वर्ष 2024 में 290 नक्सलियों को मार गिराया गया, 1090 को गिरफ्तार किया गया और 881 ने आत्मसमर्पण कर दिया। अब तक कुल 15 शीर्ष नक्सल नेताओं को मार गिराया गया है।

इसके मुताबिक, वर्ष 2004 और 2014 के बीच नक्सल हिंसा की कुल 16,463 घटनाएं हुईं। हालांकि, 2014 से 2024 तक नरेन्द्र मोदी सरकार के कार्यकाल के दौरान नक्सल हिंसा की 7,744 घटनाएं हुईं, जो 53 प्रतिशत तक की गिरावट दर्शाता है।

बयान के मुताबिक, 2014 में देश में 126 जिले नक्सल प्रभावित थे, लेकिन 2024 तक ऐसे जिलों की संख्या घटकर केवल 12 रह गई है।

भाषा सं संजीव शफीक नेत्रपाल

नेत्रपाल

 

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