#CGKiBaat: रायपुर: नमस्कार, छत्तीसगढ़ की बात में स्वागत है आपका, जिसने बस्तर जीता-समझो उसने छत्तीसगढ़ की सत्ता संभाली, ये बात सभी दल जानते हैं, इसीलिए हर बार की तरह इस बार भी मोदी-शाह, कांग्रेस-बीजेपी सभी की नजरें बस्तर पर कब्जा करने पर हैं। अपने मिशन छत्तीसगढ़ में, रायपुर, रायगढ़, बिलासपुर के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मंगलवार को जगदलपुर पहुंचे। एक तरफ बस्तर को विकास की सौगात दी तो दूसरी तरफ प्रदेश की भूपेश सरकार और कांग्रेस को करप्शन, जातिवादी पॉलिटिक्स समेत विभिन्न मसलों पर घेरते हुए डबल इंजन की सरकार बनाने, माहौल बनाया। वार तगड़ा था तो पलटवार भी जबरदस्त रहा। कांग्रेस ने एक-एक मुद्दे पर भाजपा को बीती रमन सरकार का कार्यकाल याद दिलाया। नतीजा किसके हक में रहा, बस्तर के साथ है, असल में बस्तर के हक की बात कौन कर रहा है…बहस होगी इसपर
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपने मिशन बस्तर के तहत कुछ इसी अंदाज में नजर आए। 30 सितंबर को बिलासपुर के बाद जगदलपुर पहुंचे PM मोदी ने 25 हजार करोड़ की लागत वाले नगरनार प्लांट का लोकार्पण किया। उद्घाटन के सरकारी कार्यक्रम में CM और डिप्टी CM के ना आने को लेकर तंज कसा। लालबाग मैदान पर विशाल जनसभा को संबोधित करते हुए मोदी ने मंच से कांग्रेस पर सबसे बड़ा हमला बोला भ्रष्टाचार पर बोला।
बस्तर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कांग्रेस पर हमलावर रहे तो राजधानी रायपुर से कांग्रेस की तरफ से मोर्चा संभाला स्वयं मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने। CM भूपेश ने कहा प्रदेश में जनता के खाते में सीधे 1.75 लाख करोड़ गए हैं। इसके अलावा PSC भर्ती, ED-IT रेड, नगरनार प्लांट निजीकरण के मुद्दे पर भी CM भूपेश ने करारा पलटवार किया। वार-पलटवार मोदी और भूपेश के बीच था सो दोनों पक्षों के नेताओँ में दिनभर आरोप-प्रत्यारोप की बहस जारी रही..
कुल मिलाकर प्रधानमंत्री मोदी ने बस्तर आकर मां दंतेश्वरी और राजा प्रवीरचंद को नमन कर यहां से जुड़ाव का संकेत दिया। फिर अपनी चिर-परिचित शैली में तय रणनीति के मुताबिक बीते 5 साल में प्रदेश को अपराध गढ़ बताते हुए, भूपेश सरकार को भ्रष्टाचार पर तो कांग्रेस को विकास विरोधी, जाति-वर्ग की सियासत करने वाली पार्टी बताकर घेरा। जवाब में मुख्यमंत्री समेत पूरी कांग्रेस ने भाजपा को आईना दिखाने की कोशिश की। पर सबसे बड़ा सवाल है कि क्या 2018 में कांग्रेस का एकतरफा साथ देने वाले बस्तर में पीएम की सभा, भाजपा के प्रति भरोसा बढ़ा पाई, क्या इसका लाभ 2023 में पार्टी को मिलेगा ?