वैष्णव ने बुलेट ट्रेन परियोजना में समुद्र के नीचे की सुरंग के काम का निरीक्षण किया |

वैष्णव ने बुलेट ट्रेन परियोजना में समुद्र के नीचे की सुरंग के काम का निरीक्षण किया

वैष्णव ने बुलेट ट्रेन परियोजना में समुद्र के नीचे की सुरंग के काम का निरीक्षण किया

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Modified Date: January 18, 2025 / 07:11 PM IST
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Published Date: January 18, 2025 7:11 pm IST

(तस्वीरों के साथ)

मुंबई/ ठाणे, 18 जनवरी (भाषा) रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने मुंबई-अहमदाबाद उच्च गति रेल गलियारे (बुलेट ट्रेन परियोजना) के तहत समुद्र के नीचे निर्माणाधीन सुरंग का शनिवार को निरीक्षण किया और परियोजना की प्रगति पर संतोष जताया।

परियोजना के तहत 21 किलोमीटर लंबी सुरंग में ठाणे क्रीक के नीचे सात किलोमीटर का हिस्सा शामिल है। यह सुरंग बांद्रा कुर्ला कॉम्प्लेक्स (बीकेसी) स्टेशन को शिलफाटा से जोड़ेगी। समुद्र के नीचे बनी यह सुरंग देश में अपनी तरह की पहली सुरंग है।

वैष्णव ने नवी मुंबई के घनसोली में संवाददाताओं से कहा कि समुद्र के नीचे सुरंग का डिजाइन तैयार कर लिया गया है और इसका निर्माण बड़ी सावधानी से किया जा रहा है।

उन्होंने कहा, “सुरंग के डिजाइन और इसमें इस्तेमाल की जा रही प्रौद्योगिकी की मदद से दो ट्रेनें 250 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से गुजर सकती हैं। हवा और प्रकाश के साथ पर्यावरण संरक्षण का भी ध्यान रखा गया है। परियोजना के 340 किलोमीटर लंबे हिस्से पर निर्माण कार्य अच्छी गति से चल रहा है।”

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि इस परियोजना में ट्रेन कोलकाता मेट्रो की नदी के नीचे बनी सुरंग में संचालित ट्रेनों के मुकाबले कही अधिक रफ्तार से गुजर सकेंगी।

वैष्णव ने कहा, “इस परियोजना में नदियों पर पुल निर्माण और स्टेशन के बुनियादी ढांचे में महत्वपूर्ण प्रगति देखी जा रही है। बीकेसी में स्टेशन एक इंजीनियरिंग चमत्कार है, जिसमें 10 भूमिगत तल और सात जमीन से ऊपर के तल हैं। हाई-स्पीड रेल परियोजना तय समय पर चल रही है। इसका निरीक्षण और अनुमोदन जापानी विशेषज्ञ कर रहे हैं।”

रेल मंत्री ने कहा कि मध्यम वर्ग के लिए किफायती, कुशल परिवहन साधन उपलब्ध कराने का प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का सपना धीरे-धीरे साकार हो रहा है।

वैष्णव ने कहा कि देश में पहली बार हाई-स्पीड रेल मार्ग के पूरा होने से मुंबई और अहमदाबाद सहित मार्ग में पड़ने वाले शहरों की अर्थव्यवस्थाएं एकीकृत होंगी और शहरी विकास को काफी बढ़ावा मिलेगा।

उन्होंने कहा, “इस गलियारे के साथ बनने वाले स्टेशन शहरी विकास को बढ़ावा देंगे और यात्रा के समय को महत्वपूर्ण रूप से कम करके दैनिक यात्रियों की उत्पादकता बढ़ाएंगे। हाई-स्पीड ट्रेन को एक परिवहन परियोजना के रूप में न देखकर अर्थव्यवस्था के एकीकरण के रूप में देखें। यह भारत के बुनियादी ढांचे और आर्थिक वृद्धि को बढ़ावा देगी।”

मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन मार्ग 508 किलोमीटर लंबा है। इस मार्ग पर महाराष्ट्र में मुंबई, ठाणे, विरार, बोईसर और गुजरात में वापी, बिलिमोरा, सूरत, भरूच, वडोदरा, आनंद, अहमदाबाद और साबरमती समेत कुल 12 स्टेशन प्रस्तावित हैं।

लगभग 1.08 लाख करोड़ रुपये की लागत से बनने वाली इस परियोजना का मुख्य आकर्षण समुद्र के नीचे 21 किलोमीटर लंबी सुरंग है।

भाषा अनुराग प्रेम

प्रेम

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(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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