मुंबई, 27 दिसंबर (भाषा) अमेरिकी मुद्रा के मजबूत रुख और विदेशी पूंजी की निरंतर निकासी के बीच रुपया शुक्रवार को शुरुआती कारोबार में आठ पैसे टूटकर अपने सर्वकालिक निचले स्तर 85.35 पहुंच गया।
विश्लेषकों के अनुसार, महीने तथा साल के अंत में भुगतान दायित्वों के लिए आयातकों द्वारा डॉलर की बढ़ती मांग से डॉलर को मजबूती मिली जिससे स्थानीय मुद्रा पर दबाव पड़ा। हालांकि, वैश्विक स्तर पर कच्चे तेल की कीमतों में नरमी और घरेलू बाजारों से सकारात्मक संकेतों ने भारतीय मुद्रा की गिरावट को सीमित कर दिया।
अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में रुपया कमजोर रुख के साथ 85.31 प्रति डॉलर पर खुला। शुरुआती सौदों के बाद 85.35 प्रति डॉलर के अपने नए सर्वकालिक निचले स्तर पर पहुंच गया, जो पिछले बंद भाव से आठ पैसे की गिरावट दर्शाता है।
रुपया बृहस्पतिवार को 12 पैसे की गिरावट के साथ 85.27 प्रति डॉलर पर बंद हुआ था।
इस बीच, छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले अमेरिकी डॉलर की स्थिति को दर्शाने वाला डॉलर सूचकांक 0.04 प्रतिशत की बढ़त के साथ 107.93 पर रहा।
अंतरराष्ट्रीय मानक ब्रेंट क्रूड 0.07 प्रतिशत की बढ़त के साथ 73.31 डॉलर प्रति बैरल के भाव पर रहा।
शेयर बाजार के आंकड़ों के मुताबिक विदेशी संस्थागत निवेशक (एफआईआई) बृहस्पतिवार को बिकवाल रहे थे और उन्होंने शुद्ध रूप से 2,376.67 करोड़ रुपये के शेयर बेचे।
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