गेल की 12,940 करोड़ रुपये की ऊर्जा गंगा पाइपलाइन अब अगले साल मार्च तक पूरी होगी |

गेल की 12,940 करोड़ रुपये की ऊर्जा गंगा पाइपलाइन अब अगले साल मार्च तक पूरी होगी

गेल की 12,940 करोड़ रुपये की ऊर्जा गंगा पाइपलाइन अब अगले साल मार्च तक पूरी होगी

:   Modified Date:  June 30, 2024 / 10:59 AM IST, Published Date : June 30, 2024/10:59 am IST

नयी दिल्ली, 30 जून (भाषा) देश के पूर्वी हिस्सों में पर्यावरणानुकूल ईंधन पहुंचाने की देश की सबसे महत्वाकांक्षी 12,940 करोड़ रुपये की ‘ऊर्जा गंगा’ गैस पाइपलाइन परियोजना के निर्माण में नौ महीने की देरी होगी और अब इसका निर्माण मार्च, 2025 तक पूरा होगा। सार्वजनिक क्षेत्र की गेल (इंडिया) लिमिटेड ने यह जानकारी दी है।

गेल ने शेयर बाजारों को भेजी सूचना में कहा कि 3,306 किलोमीटर लंबी जगदीशपुर-हल्दिया-बोकारो-धामरा पाइपलाइन को मूल रूप से जून, 2024 तक पूरा किया जाना था। लेकिन उपयोग के अधिकार (आरओयू) की उपलब्धता में देरी के कारण इस परियोजना के पूरा होने का समय संशोधित कर जून, 2024 से मार्च, 2025 कर दिया गया है।

ज्यादातर पाइपलाइन का निर्माण पहले ही हो चुका है, और मार्ग के अधिकांश शहरों में गैस का प्रवाह शुरू हो गया है।

परंपरागत रूप से उपलब्ध प्राकृतिक गैस का इस्तेमाल बिजली पैदा करने, उर्वरक बनाने या सीएनजी और रसोई गैस के रूप में किया जाता है।

अक्टूबर, 2016 में उत्तर प्रदेश के जगदीशपुर से पश्चिम बंगाल के हल्दिया, झारखंड के बोकारो और ओडिशा के धामरा तक पाइपलाइन बिछाने का काम शुरू हुआ था।

पूर्वी क्षेत्र के राज्यों तक ईंधन ले जाने के लिए लाइन को बिहार के बरौनी से असम के गुवाहाटी तक (726 किमी) बढ़ाया गया था।

जगदीशपुर-हल्दिया-बोकारो-धामरा पाइपलाइन (जेएचबीडीपीएल) को प्रधानमंत्री ऊर्जा गंगा पाइपलाइन कहा जाता है। इसके जरिये पूर्वी राज्यों.. बिहार, झारखंड, ओडिशा और पश्चिम बंगाल को गैस की आपूर्ति की जानी है।

पाइपलाइन को क्रियान्वित करने वाली कंपनी गेल ने कहा कि उसके निदेशक मंडल ने 28 जून को एक बैठक में पाइपलाइन को पूरा करने की समयसीमा को बढ़ाकर जून, 2024 से मार्च, 2025 करने की मंजूरी दे दी।

गेल ने 10 मई, 2019 को कहा था कि उसने पाइपलाइन से जुड़े 10,500 करोड़ रुपये के सभी महत्वपूर्ण अनुबंध दे दिए हैं।

सरकार ने जेएचबीडीपीएल के क्रियान्वयन के लिए 40 प्रतिशत का व्यवहार्यता अंतर (वीजीएफ) यानी 5,176 करोड़ रुपये उपलब्ध कराए हैं। वहीं बरौनी-गुवाहाटी पाइपलाइन के लिए सरकार ने 60 प्रतिशत यानी 5,559 करोड़ रुपये का वीजीएफ उपलब्ध कराया है।

भाषा अजय अजय

अजय

 

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